पंजाब
पंजाब के मुख्यमंत्री और दिल्ली के मुख्यमंत्री ने राज्य में शिक्षा क्रांति का आधार बांधा, पहला ‘स्कूल ऑफ एमिनेंस’ किया समर्पित
Gulabi Jagat
13 Sep 2023 2:30 PM GMT
x
अमृतसर: विद्यार्थियों को अपने जीवन में बुलंदियों पर पहुँचाने के लिए उनके सपनों को उड़ान देते हुए पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल ने राज्य का पहले ‘स्कूल ऑफ एमिनेंस’ पंजाब निवासियों को समर्पित किया।
दोनों मुख्यमंत्रियों ने कहा, ‘‘पंजाब में आज शिक्षा के क्षेत्र में नयी क्रांति का आग़ाज़ हो चुका है और यह स्कूल निश्चित रूप से मील पत्थर साबित होंगे।’’
मुख्यमंत्रियों ने कहा कि आज का दिन एक यादगार का अवसर है और वह दिन दूर नहीं जब शिक्षा के क्षेत्र में पंजाब, देश का अग्रणी राज्य होगा। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार के इस प्रयास से विद्यार्थियों ख़ास तौर पर गरीब और पिछड़े वर्गों के विद्यार्थियों को मानक शिक्षा मुहैया करवाई जायेगी। उन्होंने कहा कि जल्द ही इन स्कूलों से तालीम हासिल करने वाले विद्यार्थी हरेक क्षेत्र में बड़ी उपलब्धियाँ हासिल करेंगे और राज्य का नाम रौशन करेंगे।
दोनों मुख्यमंत्रियों ने कहा कि यह स्कूल हमारे विद्यार्थियों की तकदीर बदल देंगे। उन्होंने कहा कि यह तो अभी शुरुआत है और गरीब विद्यार्थियों के कल्याण के लिए ऐसे और स्कूल खोले जाएंगे। उन्होंने उम्मीद ज़ाहिर की कि यह स्कूल ‘आधुनिक युग के मंदिर’ होंगे, जो विद्यार्थियों के जीवन में गुणात्मक बदलाव लाएंगे।
इस दौरान दोनों मुख्यमंत्रियों ने स्कूलों के क्लास रूम्स का दौरा करके विद्यार्थियों के साथ बातचीत भी की। सरकार के इस बेहतरीन कदम के लिए दोनों मुख्यमंत्रियों का तहे दिल से धन्यवाद करते हुए 11वीं कक्षा की छात्रा दीक्षा ने कहा कि इससे पहले वह प्राईवेट स्कूल में पढ़ती थी। उस छात्रा ने कहा कि इस स्कूल में मौजूद सुविधाएं इन प्राईवेट स्कूलों में भी मौजूद नहीं हैं। उसने इस स्कूल की स्थापना के लिए भगवंत सिंह मान और अरविन्द केजरीवाल का धन्यवाद किया।
एक अन्य छात्रा किरनदीप कौर जिसने परीक्षा पास करने के बाद इस स्कूल में दाखि़ला लिया, ने कहा कि वह सरहदी इलाके के एक गाँव की निवासी है और उसकी इच्छा डॉक्टर बनने की है। उन्होंने कहा कि कुछ साल पहले इस इच्छा का पूरा हो जाना कठिन लगता था, परन्तु अब उसे विश्वास हो चुका है कि इस स्कूल के स्वरूप उसका सपना जल्द ही साकार होगा। उन्होंने इस नेक प्रयास के लिए दोनों मुख्यमंत्रियों का धन्यवाद किया, जो नौजवान पीढ़ी का भविष्य सुरक्षित करेंगे।
दो अन्य छात्राएँ आर्यन और सानिया ने भी अपने विचार साझे करते हुए कहा कि अति-आधुनिक क्लास रूम और लैबोरेट्रियों वाला स्कूल उनके सपनों का स्कूल है। उन्होंने कहा कि इस स्कूल के विद्यार्थी होना उनके लिए गर्व की बात है। उन्होंने कहा कि स्कूल की डिजिटल पढ़ाई और अति-आधिनक बुनियादी ढांचे से वह अपने जीवन में नयी मंजि़ल छूएंगे।
दोनों मुख्यमंत्रियों ने विद्यार्थियों के माँ-बाप के साथ भी विस्तार में बातचीत की, जिन्होंने इस दूरदर्शी वाले इस फ़ैसले के लिए दोनों नेताओं की सराहना की। एक सरहदी गाँव से सम्बन्धित अमर पाल और तृप्ता रानी ने दोनों नेताओं को बताया कि यह स्कूल सरकारी स्कूलों की तरह लगता ही नहीं। उन्होंने जरूरतमंद परिवारों के विद्यार्थियों के कल्याण के लिए सोचने और अमल करने के लिए दोनों मुख्यमंत्रियों की सराहना की। उन्होंने कहा कि प्राईवेट स्कूल किसी न किसी बहाने विद्यार्थियों को परेशान करते हैं परन्तु यह स्कूल शिक्षा के क्षेत्र में बेमिसाल बदलाव हैं।
एक अन्य अध्यापक रीना मेहता ने भी इस ऐतिहासिक पहल के लिए मुख्यमंत्रियों की सराहना की। उसने बताया कि यह देखकर ख़ुशी हो रही है कि विद्यार्थी मुफ़्त में मानक शिक्षा हासिल कर रहे हैं।
प्राईमरी अध्यापक चंदा ने बताया कि अगर एक दशक पहले ऐसे स्कूल खुले होते तो अब तक राज्य का नक्शा बदल चुका होना था। उसने बताया कि उसका बच्चा प्राईवेट स्कूल में पढ़ता था परन्तु अब उसे परीक्षा के बाद में इस स्कूल में दाखि़ला मिल गया है। उसने आने वाली पीढिय़ों का भविष्य संवारने के उद्देश्य से की इस बेमिसाल पहल के लिए दोनों मुख्यमंत्रियों की तारीफ़ की।
दोनों मुख्यमंत्रियों ने इस स्कूल के एन.सी.सी. कैडेटों के गार्ड ऑफ ऑनर से सलामी ली। दोनों नेता स्कूल में नये बने बास्केटबॉल कोर्ट में भी गए, जहाँ शिक्षा मंत्री हरजोत बैंस ने उनको स्कूल के के बारे में अवगत करवाया। दोनों मुख्यमंत्रियों ने राज्य के सरकारी स्कूलों के लिए शुरू की गई ट्रांसपोर्ट सुविधा की पहली बस को हरी झंडी दिखाई।
इस मौके पर शिक्षा मंत्री हरजोत बैंस, मुख्य सचिव अनुराग वर्मा, सचिव शिक्षा विभाग के.के. यादव, मुख्यमंत्री के विशेष प्रमुख सचिव रवि भगत और अन्य शख्सियतें उपस्थित थीं।
Tagsपंजाब के मुख्यमंत्रीदिल्ली के मुख्यमंत्रीराज्य में शिक्षा क्रांति का आधार बांधापहला ‘स्कूल ऑफ एमिनेंस’ समर्पितChief Minister of PunjabChief Minister of Delhilaid the foundation of education revolution in the statededicated the first 'School of Eminence'पंजाब सरकारपंजाब न्यूजपंजाब की खबरपंजाब लेटेस्ट न्यूजजनता से रिश्ताजनता से रिश्ता न्यूज
Gulabi Jagat
Next Story