पंजाब

चंडीगढ़: दाना मंडियों में घोटाला, छह अधिकारियों को नोटिस

Suhani Malik
17 Aug 2022 5:19 AM GMT
चंडीगढ़: दाना मंडियों में घोटाला, छह अधिकारियों को नोटिस
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ब्रेकिंग न्यूज़: अधिकारी ने बताया कि इस मामले में जांच का दायरा बढ़ाया जाएगा, ताकि अन्य जिलों की मंडियों में लेबर, कारटेज और ट्रांसपोर्टेशन टेंडरों का काम भी खाद्य एवं आपूर्ति विभाग के अधिकारियों के पास ही रहता है। वर्ष 2020-21 के दौरान लुधियाना की दाना मंडियों में ठेकेदारों ने दोपहिया और तीन पहिया वाहनों के नंबरों को ट्रकों के नंबर (रजिस्ट्रेशन) दिखा दो करोड़ रुपये से ज्यादा की धांधली की। यह मामला सामने आने के बाद पंजाब विजिलेंस ब्यूरो ने गुरदास राम एंड कंपनी के मालिक व हिस्सेदारों के खिलाफ केस कर लिया है। वहीं एक अन्य निजी फर्म के मालिक, नवांशहर के गांव उधनवाल के एसबीएस नगर निवासी तेलू राम को लुधियाना से गिरफ्तार कर लिया गया है। इस बीच, लुधियाना के एआईजी के नेतृत्व में जांच टीम का गठन कर दिया गया है। वहीं खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति विभाग के छह अधिकारियों और खरीद एजेंसियों के कर्मचारियों को नोटिस जारी किया है। अब तक जांच में 13 ऐसे ट्रकों का पता चला है, जिन पर छह कारों और तीन दोपहिया वाहनों के नंबर लगाकर लेबर, कारटेज और ट्रांसपोर्टेशन टेंडर को मंजूर कराया गया इस संबंध में पंजाब विजिलेंस ब्यूरो के अधिकारी ने बताया कि शिकायत नंबर 72/2022 में लगे आरोपों की पड़ताल के दौरान उक्त निजी फर्म के मालिकों तेलू राम, जगरूप सिंह और संदीप भाटिया के अलावा सरकारी अधिकारियों के खिलाफ आईपीसी की विभिन्न धाराओं और भ्रष्टाचार निवारक अधिनियम की धाराओं के तहत लुधियाना में एफआईआर दर्ज की गई है।

अब तक की जांच में पाया गया है कि साल 2020-21 के लिए लुधियाना जिले की दाना मंडियों में लेबर, कारटेज और ट्रांसपोर्टेशन के काम के लिए टेंडर भरते समय उक्त ठेकेदारों ने जिन वाहनों की सूचियां विभाग को प्रस्तुत कीं, उनके रजिस्ट्रेशन नंबर स्कूटरों, मोटरसाइकिलों व कारों के थे। जांच में साफ हो गया कि ठेकेदारों की इस गड़बड़ी को जिला टेंडर समिति के संबंधित अधिकारियों व कर्मचारियों ने परस्पर आपराधिक मिलीभगत के चलते तस्दीक नहीं की। अगर इसकी जांच होती तो विभाग की नीति के अनुसार तकनीकी बोली को रद्द करना अनिवार्य होता लेकिन ऐसा नहीं किया गया। दरअसल, अनाज की लोडिंग व अनलोडिंग से संबंधित गेट पासों में ढुलाई के लिए इस्तेमाल जिन स्कूटरों, मोटरसाइकिलों और कारों के रजिस्ट्रेशन नंबर मिल हैं, वह वाहन माल की ढुलाई ही नहीं कर सकते। जांच में मान लिया है कि उक्त वाहनों के रजिस्ट्रेशन नंबरों के विवरण के साथ इनके गेट पास में दर्ज ढुलाई की गई वस्तुओं की मात्रा से यह साफ हो गया है कि गेट पास में दर्ज अनाज की फर्जी रिपोर्टिंग और हेराफेरी की गई है।

विजिलेंस ने बताया कि इन गेट पास के आधार पर विभाग के अधिकारियों ने बिना तस्दीक तेलू राम ठेकेदार, गुरदास राम एंड कंपनी के मालिक व हिस्सेदार जगरूप सिंह और ठेकेदार संदीप भाटिया को अदायगी भी की है। विजिलेंस ब्यूरो ने उपरोक्त व्यक्तियों के साथ-साथ विभाग के दोषी अधिकारियों के खिलाफ नकली दस्तावेज पेश करने व स्वीकार करने, माल की नकली ढुलाई के लिए एक-दूसरे के साथ मिलीभगत करने के आरोप में केस दर्ज किया है। जिलों की मंडियों में भी जांच करेगी विजिलेंस विजिलेंस ब्यूरो के अधिकारी ने बताया कि इस मामले में जांच का दायरा बढ़ाया जाएगा, ताकि अन्य जिलों की मंडियों में लेबर, कारटेज और ट्रांसपोर्टेशन टेंडरों का काम भी खाद्य एवं आपूर्ति विभाग के अधिकारियों के पास ही रहता है। अधिकारी ने बताया कि लुधियाना से सटे सभी जिलों के अलावा सूबे के छह अन्य जिलों की औचक जांच भी की जाएगी।

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