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मुंबई। शिवसेना नेता और पूर्व मंत्री आदित्य ठाकरे (Aditya Thackeray) का कहना है कि महाराष्ट्र के राज्यपाल, राज्यपाल नहीं, बल्कि एक राजनीतिक नेता हैं। राज्यपाल ने हमें सत्ता से बाहर कर दिया। हमारे कार्यकाल के दौरान विधानसभा अध्यक्ष की नियुक्ति नहीं की गई, लेकिन सरकार बदलने के तुरंत बाद विधानसभा अध्यक्ष नियुक्त कर दिया। साथ ही राज्यपाल ने विधान परिषद में नियुक्त होने वाले 12 विधायकों का मामला लंबित रखा। ऐसे में राजनीतिक राज्यपाल को हटाने के लिए विशेष मुहिम चलानी चाहिए।
वे बोरीवली में युवा सेना के महायूथ फाउंडेशन (Mahayouth Foundation) के सहयोग से आयोजित रोजगार में बोल रहे थे। इस मौके पर आदित्य ठाकरे ने राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी का नाम नहीं लेते हुए उन पर निशाना साधा। आदित्य ने कहा कि महाराष्ट्र में ये राज्यपाल नहीं चलेंगे। वे राज्यपाल नहीं, राजनीतिक नेता हैं। उन्होंने विवादित बयान देने वाले योग गुरु रामदेव बाबा की भी आलोचना की। आदित्य ने कहा कि उनका बयान बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है। इससे यह सवाल उठता है कि हम महिलाओं को किस नजर से देखते हैं। इस दौरान आदित्य ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के गुवाहाटी दौरे की भी आलोचना की। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र से परियोजनाएं बाहर जा रही हैं। बेरोजगारी बढ़ रही है। इस तरफ ध्यान देने बजाय असंवैधानिक मुख्यमंत्री सभी विधायकों को साथ लेकर घूम रहे हैं। अब गुवाहाटी गए, वहां से कहां जाएंगे? यह सवाल करते हुए उन्होंने कहा कि उनका महाराष्ट्र के लिए काम करने का कभी मन नहीं था। जूनियर ठाकरे ने आरोप लगाया कि राक्षसी महत्वाकांक्षा रखने वाले मुख्यमंत्री राज्य के लिए कुछ नहीं कर रहे हैं।
सरकार गिर जाएगी, नहीं होगा कैबिनेट विस्तार
आदित्य ठाकरे ने कैबिनेट विस्तार को लेकर भी टिप्पणी की। सितंबर, नवंबर, दिसंबर में बार-बार कैबिनेट विस्तार की बारे में बातें कहीं जा रही हैं, यह सरकार गिर जाएगी, फिर भी कैबिनेट विस्तार नहीं होगा? इस वजह से विस्तार का विमान घूम रहा है।
Source : Hamara Mahanagar
( जनता से रिश्ता इस खबर की पुष्टि नहीं करता है ये खबर जनसरोकार के माध्यम से मिली है और ये खबर सोशल मीडिया में वायरलहो रही थी जिसके चलते इस खबर को प्रकाशित की जा रही है। इस पर जनता से रिश्ता खबर की सच्चाई को लेकर कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं करता है।)
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