मध्य प्रदेश

नेटवर्क नहीं, पुलिसकर्मी डिजीटल साक्ष्य संकलन के लिए पेन ड्राइव और CD में सुरक्षित कर रहे

Gulabi Jagat
2 Sep 2024 6:16 PM GMT
नेटवर्क नहीं, पुलिसकर्मी डिजीटल साक्ष्य संकलन के लिए पेन ड्राइव और CD में सुरक्षित कर रहे
x
Raisen।नए कानून को लागू हुए करीब दो माह पूरा होने को हैं। लेकिन डिजीटल साक्ष्य संकलन के लिए गृह मंत्रालय से शुरू किए गया एप ग्रामीण क्षेत्रों के थाने में नेटवर्क की वजह से सही तरीके से काम नहीं कर पा रहा है। इस वजह से पुलिसकर्मी अपने मोबाइल से साक्ष्य रिकॉर्ड कर पैनड्राइव या डेटाकार्ड में इसे संकलित कर रहे हैं।दरअसल एक जुलाई से कानून में बदलाव किया गया हैं। नए कानून में डिजीटल साक्ष्य को मान्यता दी गई है। इसके लिए पुलिसकर्मियों को गवाहों की मौजूदगी में ही घटना की कार्रवाई का वीडियो रिकार्ड करने हैं।
एक जुलाई से पहले पुलिस को यह नहीं करना पड़ता था। केवल गवाहों के हस्ताक्षर मात्र से काम चल जाता था लेकिन अब डिजिटल साक्ष्य की प्रक्रिया को पूरा करना पड़ रहा है। अब आरोपी की तलाश, जब्ती और गिरफ्तारी के समय ऑन कैमरा आरोपी को जानकारी देना अनिवार्य हो गया है। घटना के समय दर्शाए जाने वाले गवाहों की वीडियो में मौजूदगी भी अनिवार्य हो गई है। डिजीटल साक्ष्य के लिए बनाए गए ऐप में लाइव रिकार्डिंग का ऑप्शन है। गवाहों के समक्ष तलाशी व जब्ती करते समय मोबाइल में इन स्टाल ऐप से लाइव रिकार्डिंग होगी जो सीधे पुलिस के सीसीटीएनएस में स्टोर हो जाएगी।
विभाग ने उपलब्ध कराए डिजिटल उपकरण......
एएसपी कमलेश कुमार खरपुसे बताते हैं कि डिजीटल साक्ष्य के लिए पेनड्राइव को डीवीडी और मेमोरी कार्ड से अधिक सुरक्षित माना जाता है। इसके गिरकर टूटने के संभावना कम रहती है। इसके चलते पुलिसकर्मी पेनड्राइव का उपयोग कर रहे हैं। एक मामले में दो पेनड्राइव का उपयोग होना मामूली बात है। पुलिसकर्मियों को विभाग द्वारा डिजीटल उपकरण पेन ड्राइव, सीटी, मेमोरी कार्ड डाटा को सुरक्षित रखता है।
Next Story