मध्य प्रदेश

गर्मी के मौसम में हो रही मानसून जैसी बारिश

Admin4
30 April 2023 9:19 AM GMT
गर्मी के मौसम में हो रही मानसून जैसी बारिश
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भोपाल। मध्य प्रदेश के अधिकांश हिस्सों में बीते तीन दिनों से लगातार बारिश हो रही है. भीषण गर्मी के मौसम में यहां मानसून जैसी बारिश हो रही है. राजधानी भोपाल (Bhopal) , इंदौर (Indore) समेत प्रदेशभर में रविवार (Sunday) को सुबह से तेज बारिश हो रही है, जिससे सड़कों पर पानी भर गया है. कई इलाकों में 40 से 50 किमी प्रतिघंटा की रफ्तार से हवाएं भी चल रही हैं और कुछ स्थानों पर ओलावृष्टि भी हो रही है. बारिश का सिलसिला लगातार जारी है.
भोपाल (Bhopal) में रविवार (Sunday) को सुबह करीब 11.00 बजे अचानक बादल छा गए और तेज बारिश शुरू हो गई. इस दौरान तेज हवा के साथ ओले भी गिरे. करीब आधे घंटे तक ओले के साथ तेज बारिश हुई. इसके बाद कुछ देर बारिश थम गई, लेकिन एक घंटे बाद पुनः गरज-चमक के साथ बारिश का सिलसिला शुरू हो गया, जो लगातार जारी है.
इंदौर (Indore) में भी रविवार (Sunday) सुबह से छाए बादल अचानक बरस पड़े. सुबह से तो हल्की बूंदाबांदी होती रही, लेकिन करीब साढ़े सात बजे तेज बारिश शुरू हो गई. करीब आधे घंटे हुई तेज बारिश से सड़कों पर पानी भरा गया. इसके बाद मौसम खुला और फिर धूप निकल आई. दोपहर करीब साढ़े 12 बजे फिर से झमाझम बारिश शुरू हो गई. इससे जगह-जगह पानी भरा गया. नर्मदापुरम, बैतूल, गुना (guna) और राजगढ़ में भी रुक-रुककर पानी गिर रहा है.
इधर, बालाघाट जिला मुख्यालय सहित तहसील क्षेत्रों में रविवार (Sunday) सुबह से मध्यम से हल्की वर्षा हो रही है. इस साल पश्चिमी विक्षोभ के चलते बालाघाट सहित प्रदेश के अधिकतर जिलों में ऋतु चक्र बदला हुआ है. अप्रैल के आखिर तथा मई माह में भीषण गर्मी पड़ती है, लेकिन इस समय बालाघाट में वर्षा ऋतु की तरह झड़ी लगी है, जिससे न सिर्फ जनजीवन प्रभावित हो रहा है बल्कि इसका सेहत पर भी बुरा असर पड़ रहा है. इस समय लोग धूप से बचने घरों से चेहरे पर गमछा, कपड़ा और चश्मा पहनकर निकलते थे, वहीं आज लोग छाता और रेनकोट साथ लेकर चल रहे हैं.
अप्रैल में इस बार तापमान में काफी उतार-चढ़ाव देखने को मिला है. महीने की शुरुआत में पारा 31 डिग्री सेल्सियस पर था और महीना खत्म होते-होते लुढ़ककर फिर 31 डिग्री पर लौट आया. माह की शुरुआत में तापमान में कमी दिखाई दी, लेकिन 11 से 20 अप्रैल तक तापमान बढ़ा और पारा 37-38 डिग्री पहुंचा. उसके बाद फिर गिरावट का दौर शुरू हुआ. विगत 10 साल में पहली बार ऐसा मौका है, जब अप्रैल में पारा 40 डिग्री तक नहीं पहुंच पाया. अप्रैल में अधिकतम तापमान 17 अप्रैल को 39.6 डिग्री दर्ज किया गया.
मालूम हो, 2020 में भी अप्रैल में पारा 40 डिग्री को नहीं छू पाया था और अधिकतम तापमान 39.7 डिग्री था. इस वर्ष पश्चिमी विक्षोभ, चक्रवाती घेरों व द्रोणिका के असर से अरब सागर व बंगाल की खाड़ी से नमी मिलती रही. इससे अप्रैल में ज्यादा दिन बादल छाए रहे.
मौसम विभाग की मानें तो वर्तमान में अलग-अलग स्थानों पर मौसम प्रणालियां सक्रिय हैं. हवाओं का रूख भी दक्षिणी एवं दक्षिण-पश्चिमी बना हुआ है. इस वजह से हवाओं के साथ अरब सागर एवं बंगाल की खाड़ी से लगातार नमी आ रही है. बड़े पैमाने पर वातावरण में आर्द्रता मौजूद रहने के कारण मध्य प्रदेश के सभी संभागों में बादल बने हुए हैं. साथ ही रूक-रूककर बौछारें भी पड़ रही हैं. इस वजह से दिन और रात के तापमान में काफी गिरावट भी दर्ज हो रही है.
बीते 24 घंटों के दौरान रविवार (Sunday) सुबह साढ़े आठ बजे तक सिवनी में 57.2, छिंदवाड़ा (Chhindwara) में 35.2, जबलपुर (Jabalpur) (Jabalpur)में 31.7, नरसिंहपुर में 24, मंडला में 16:4, इंदौर (Indore) में 15.5, बैतूल में 13.6, उमरिया में 11.2, उज्जैन में 9.4, खंडवा में 6.8, मलाजखंड में 6.6, पचमढ़ी में चार,रायसेन में 3.4, धार में 2.7, नर्मदापुरम में 2.6, भोपाल (Bhopal) में दो, रतलाम में एक, ग्वालियर (Gwalior) में 0.4 एवं गुना (guna) में 0.2 मिलीमीटर वर्षा हुई. मौसम विभाग ने सोमवार (Monday) को भी प्रदेश के सभी जिलों में बारिश होने की संभावना जताई है.
मौसम विज्ञान केंद्र के कृषि मौसम वैज्ञानिक धर्मेंद्र अगाशे ने बताया कि गर्मी के बीच लगातार आंधी-तूफान और वर्षा होने की मुख्य वजह उत्तर भारत में दो वेस्टर्न डिस्टर्बेंस का सक्रिय होना है, जो काफी मजबूत हैं. इसके साथ चक्रवात का असर भी है. आगामी दिनों में भी मौसम में इसी तरह के बदलाव बने रहेंगे.
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