मध्य प्रदेश

शेड तोड़ने के लिए आई पोकलेन मशीन के पंजेे पर चढ़कर फायर कर्मियों ने डाला पानी

Admin Delhi 1
16 Feb 2023 6:49 AM GMT
शेड तोड़ने के लिए आई पोकलेन मशीन के पंजेे पर चढ़कर फायर कर्मियों ने डाला पानी
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इंदौर न्यूज़: देवास नाका की तीन फैक्ट्री में लगी आग ने अग्निशमन व्यवस्थाओं की पोल खोलकर रख दी. आग फैल रही थी, लेकिन पानी प्रेशर से अंदर तक नहीं डाला जा सका. ऊंचाई तक जाकर पानी डालने के लिए फायर ब्रिगेड के पास वाहन नहीं था, शेड तोड़ने के लिए आई पोकलेन के पंजे पर सवार होकर फायरकर्मी ऊंचाई पर पहुंचे और आग पर पानी डाला.

आग की सूचना पर फायर बिग्रेड की दमकलें पहुंची, लेकिन संसाधन के अभाव में प्रभावी काम नहीं कर पाई. फायर ब्रिगेड की दमकलें फाइबर फैक्ट्री के आगे पीछे तैनात हो गई और पानी डालने लमी. चूंकि अंदर प्लास्टिक दाने, केमिकल था इसलिए आग काबू में नहीं आ पा रही थी. आगे की ओर कंप्रेशर रूम था, आग वहां तक न पहुंचे इसलिए लगातार पानी डाला गया. दमकल से पानी डाला जा रहा था, लेकिन इतना प्रेशर नहीं था कि पानी अंदर जा पाए. नगर निगम के पानी की टैंकर भी समय पर नहीं पहुंच पाए. फायर एसपी आरएस निंगवाल अपनी टीम के साथ प्रयास करते रहे. करीब 1 बजे नगर निगम की पोकलेन मशीन आई और फायर ब्रिगेड के ऊपरी हिस्से में लगे शेड तोड़े. फायर एसपी निंगवाल नेे यहां पोकलेन मशीन के पंजे में तीन कर्मचारियों को बैठाकर पाइप लेकर ऊंचाई पर चढ़ाया और वहां से आग पर पानी डालने का काम शुरू हुआ. हालांकि दो बजे तक आग पर काबू पा लिया गया था, लेकिन शाम 4-5 बजे आग पूरी तरह से बुझ पाई.

सालों से खराब ब्रांटो

शहर में बहुमंजिला कल्चर आ रहा है, लेकिन फायर ब्रिगेड के पास ऊंचाई पर जाकर आग बुझाने की कोई व्यवस्था नहीं है. सालों पहले करीब 4 करोड़ की गाड़ी ब्रांटो आई थी, लेकिन इस्तेमाल किए बिना ही खराब हो गई और अब तक सुधरी नहीं है. इसके अलावा कोई वाहन नहीं है.

निगम के टैंकर का डीजल खत्म, निजी का सहारा

नगर निगम व फायर ब्रिगेड के पानी के टैंकर समय पर नहीं पहुंच पा रहे थे. देवास नाका, निरंजनपुर आदि इलाके में सक्रिय निजी पानी के टैंकरों को बुलाकर आग बुझाने में मदद ली गई. नगर निगम ने इमरजेंसी वाहन के रूप में फायर टैंक तैनात किए हैं. एक टैंकर मौके पर पहुंचा तो पता चला कि उसमें डीजल ही खत्म है. बाद में एक बोतल में डीजल लाकर डाला तब कहीं वह आगे बढ़ पाया.

फैक्ट्री में आग बुझाने की व्यवस्था नहीं

फाइबर फैक्ट्री में आग लगी तो कुछ ही देर में फैल गई. प्लास्टिक, केमिकल होने के बाद भी आग बुझाने की पर्याप्त व्यवस्था नहीं थी. हालांकि कंपनी के सीईओ तरुण सुराना का कहना था कि फैक्ट्री में फायर उपकरण थे. आग लगी तो कर्मचारियों ने बुझाने का प्रयास किया, लेकिन सफल नहीं हुए. एसपी निंगवाल के मुताबिक, प्लास्टिक-फाइबर फैक्टरी में नियमानुसार हाइड्रेंट, प्रेशर पाइप की व्यवस्था होना चाहिए, लेकिन वहां ऐसी कोई व्यवस्था नहीं थी.

मुख्यालय को लिखेंगे: एसपी

फायर एसपी आरएस निंगवाल ने माना कि फायर ब्रिगेड के पास ऊंचाई तक जाकर आग बुझाने के कोई साधन नहीं है. हालांकि उनका कहना है कि आग लगने पर पूरी टीम ने मौके पर पहुंचकर त्वरित गति से काम किया. एसपी का कहना है कि फायर ब्रिगेड के पास संसाधन की कमी है जिसे लेकर वे मुख्यालय को लिखेंगे. लसूड़िया टीआइ संतोष दूधी के मुताबिक, आगजनी का केस दर्ज किया है. कारणों की जांच होगी और व्यवस्थाओं को भी देखा जाएगा.

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