मध्य प्रदेश

बीजेपी मध्य प्रदेश के निकाय चुनाव के नतीजों से अलर्ट, अब छत्तीसगढ़ में नेतृत्व संकट बड़ी चुनौती

Renuka Sahu
24 July 2022 4:38 AM GMT
BJP alerts from the results of Madhya Pradesh civic elections, now the leadership crisis in Chhattisgarh is a big challenge
x

फाइल फोटो 

मध्य प्रदेश में स्थानीय निकायों के चुनाव नतीजों को लेकर भाजपा सतर्क हो गई है।

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। मध्य प्रदेश में स्थानीय निकायों के चुनाव नतीजों को लेकर भाजपा सतर्क हो गई है। छत्तीसगढ़ में पार्टी पहले ही नेतृत्व के संकट से जूझ रही है। दोनों राज्यों में अगले साल विधानसभा चुनाव हैं। ऐसे में अगस्त माह से चुनावी रणनीति पर प्रभावी अमल शुरू हो जाएगा। दोनों राज्यों में संभावित कुछ संगठनात्मक व प्रशासनिक बदलाव किए जाने की भी संभावना है।

भाजपा नेतृत्व ने हाल में लंबे समय से पूर्वोत्तर में काम कर रहे अजय जामवाल को मध्य प्रदेश-छत्तीसगढ़ का क्षेत्रीय संगठन मंत्री बनाया है। इससे यह साफ हो गया है कि भाजपा नेतृत्व अब दोनों राज्यों में मजबूत चुनावी तैयारियों के लिए संगठनात्मक मजबूती को पर खासा जोर देने जा रही है। मध्य प्रदेश व छत्तीसगढ़ 2000 से पहले एक ही राज्य थे, इसलिए दोनों राज्यों का संगठनात्मक ढांचा लगभग एक जैसा ही है।
मध्यप्रदेश में भाजपा को महाकौशल और ग्वालियर चंबल क्षेत्र में ज्यादा मजबूती से तैयारी करनी होगी, क्योंकि इन दोनों क्षेत्रों में कांग्रेस ने हाल में स्थानीय निकाय चुनाव में प्रभावी प्रदर्शन किया है। ग्वालियर चंबल क्षेत्र में ज्योतिरादित्य सिंधिया के भाजपा में आने से आंकड़ों में तो भाजपा मजबूत हुई है, लेकिन नेताओं के आपसी टकराव भी बढ़े है, जिससे उसे हाल में कुछ चुनावी नुकसान भी हुआ है। पार्टी को सबको एक साथ रखने की भी बड़ी चुनौती है।
छत्तीसगढ़ में भाजपा के सामने नेतृत्व का संकट बरकरार है। पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह राज्य के सबसे बड़े नेता हैं, लेकिन चुनावी नेतृत्व को लेकर पार्टी उन पर भरोसा करेगी, इसे लेकर संदेह है। सूत्रों के अनुसार हाल में अजय जामवाल को क्षेत्रीय संगठन मंत्री बनाकर मध्य प्रदेश छत्तीसगढ़ भेजे जाने के पीछे इन दोनों राज्यों के लिए मजबूत संगठनात्मक तैयारी करना है। जामवाल का केंद्र रायपुर होगा जिससे वह छत्तीसगढ़ पर ज्यादा ध्यान दे सकेंगे। मध्य प्रदेश में अभी कुछ और बदलाव किए जाने की के आसार हैं। बीते दिनों सुहास भगत की जगह हितानंद शर्मा को प्रदेश संगठन महामंत्री बनाया गया था।
Next Story