कर्नाटक

कर्नाटक सरकार ने सांप्रदायिक हिंसा में मरने वालों के परिजनों को मुआवजा दिया

Rani Sahu
19 Jun 2023 10:20 AM GMT
कर्नाटक सरकार ने सांप्रदायिक हिंसा में मरने वालों के परिजनों को मुआवजा दिया
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बेंगलुरु (आईएएनएस)| कर्नाटक में कांग्रेस सरकार ने सांप्रदायिक हिंसा में अपने परिजनों को खोने वाले छह परिवारों को सोमवार को 25-25 लाख रुपये का मुआवजा दिया। परिवार के सदस्यों को चेक वितरित करने के बाद, मुख्यमंत्री सिद्दारमैया ने घोषणा की कि उनकी सरकार ने पिछली भाजपा सरकार की संविधान विरोधी नीति को मिटा दिया है।

सीएम ने कार्यक्रम के बाद पत्रकारों से बात करते हुए कहा, यह सरकार सभी की है। यदि किसी एक जाति या धर्म के प्रति पक्षपात दिखाया जाता है तो यह असंवैधानिक होगा। पिछली भाजपा सरकार ने मृतक व्यक्तियों के परिवारों के आंसू पोंछने के मामले में भेदभाव की नीति अपनाई थी।
मैंने एक विपक्षी नेता के रूप में अपने कार्यकाल के दौरान भाजपा सरकार द्वारा भेदभाव और नफरत की राजनीति के खिलाफ आवाज उठाई थी। भाजपा ने साम्प्रदायिक हिंसा के शिकार हुए मृतक व्यक्तियों के नाम पर राजनीति की। हमने भाजपा द्वारा किए जा रहे भेदभाव को सही किया है।
सीएम ने आगे कहा कि पुलिस को धार्मिक कट्टरपंथियों, अनैतिक पुलिसिंग और जाति या धर्म के बहाने कानून को अपने हाथ में लेने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई शुरू करने के निर्देश दिए गए हैं।
17 जुलाई 2022 को मारे गए दक्षिण कन्नड़ जिले के कलंजा गांव के निवासी मसूद के परिवारों को मुआवजा दिया गया। 31 मार्च 2023 को मांड्या के गुट्टालू कॉलोनी निवासी इदरीस पाशा, 28 जुलाई 2022 को मंगलुरु के पास मंगलापेटे के निवासी मोहम्मद फाजिल, 17 जनवरी 2022 को गडग जिले के नरगुंड के रहने वाले समीर, 24 दिसंबर 2022 को दक्षिण कन्नड़ जिले के कटिपल्ला के अब्दुल जलील और कटिपल्ला के दीपक राव की 3 जनवरी 2018 को हत्या कर दी गई थी। इन सभी मृतकों के परिजनों को मुआवजा मुख्यमंत्री राहत कोष से दिया गया है।
पूर्व की भाजपा सरकार ने मुआवजा नहीं दिया और पार्टी या सरकार का कोई प्रतिनिधि मृतकों के परिवारों से नहीं मिला था।
--आईएएनएस
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