झारखंड

झारखंड में साइबर अपराध पर नकेल कसने की तैयारी शुरू, राज्य के 40 से अधिक साइबर अपराधियों की जब्त होगी संपत्ति

Renuka Sahu
23 Aug 2022 4:09 AM GMT
Preparations begin to crack down on cyber crime in Jharkhand, property of more than 40 cyber criminals of the state will be confiscated
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फाइल फोटो 

झारखंड में साइबर अपराध पर नकेल कसने की तैयारी शुरू कर दी गई है।

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। झारखंड में साइबर अपराध पर नकेल कसने की तैयारी शुरू कर दी गई है। राज्य पुलिस ने 40 कुख्यात साइबर अपराधियों की संपत्ति का ब्योरा तैयार किया है, जिसे जब्त करने की प्रक्रिया शुरू की जाएगी। साइबर अपराध में संलिप्त लोगों के खिलाफ ईडी से पत्राचार किया गया है, ताकि उनके खिलाफ प्रिवेंशन ऑफ मनी लाउंड्रिंग एक्ट की संगत धाराओं के तहत कार्रवाई की जा सके।

राज्य पुलिस के पास संपत्ति जब्त करने का अधिकार नहीं होता, लेकिन ईडी पीएलएमए के तहत अपराध से अर्जित संपत्ति को जब्त कर सकती है। ऐसे में राज्य सीआईडी ने देवघर और जामताड़ा समेत अन्य जिलों के चिह्नित बड़े साइबर अपराधियों की सूची तैयार की, इसके बाद उनके द्वारा अर्जित अचल संपत्तियों का भी पता लगाया गया है। सीआईडी ने पूरा विवरण पुलिस मुख्यालय को भेजा था। इसके बाद इस संबंध में राज्य पुलिस मुख्यालय ने पत्राचार किया है।
पहले भी जब्त हो चुकी है साइबर अपराधियों की संपत्ति राज्य में पूर्व में भी ईडी ने साइबर अपराधियों के खिलाफ मनी लाउंड्रिंग की कार्रवाई की थी। साल 2020 में ईडी ने जामताड़ा के कुख्यात साइबर अपराधी प्रदीप कुमार मंडल, पिंटू मंडल, अंकुश कुमार मंडल, संतोष मंडल और गणेश मंडल के मिरगा गांव में तीन अचल संपत्तियों, चार वाहनों के साथ बैंक में जमा रकम जब्त की थी। जामताड़ा के नारायणपुर थाने में प्रदीप मंडल समेत अन्य आरोपियों के खिलाफ 22 जुलाई 2016 को मामला दर्ज किया गया था। इस दर्ज केस में चार्जशीट के आधार पर ईडी ने केस टेकओवर किया था। ईडी ने जांच में पाया कि साइबर अपराधी प्रदीप मंडल ने साइबर फ्रॉड कर काफी संपत्ति अर्जित की है।
केंद्रीय दल ने किया था प्रभावित इलाकों का दौरा
बीते माह केंद्र सरकार के गृह मंत्रालय के अधिकारियों के दल ने देवघर और जामताड़ा में साइबर अपराध प्रभावित इलाकों का दौरा किया था। इस दौरे के बाद साइबर अपराध प्रभावित इलाकों को लेकर विशेष कार्ययोजना पर काम शुरू किया गया है। गृह मंत्रालय की टीम ने दौरे के बाद राज्य पुलिस के आला अधिकारियों से भी मुलाकात कर कई जानकारी शेयर की थी।
अलग-अलग रणनीति पर हो रहा काम
झारखंड में जामताड़ा, देवघर, गिरिडीह और धनबाद जिले से साइबर अपराध को सर्वाधिक अंजाम दिया जाता रहा है। साइबर अपराध से प्रभावित इलाकों में युवाओं को रोजगार से जोड़ने के लिए साइबर हब बनाने पर जोर दिया जा रहा है। साइबर अपराध में कम पढ़े-लिखे युवा ज्यादा सक्रिय हैं, ऐसे में इन युवाओं को साइबर से जुड़ी नौकरियों में कैसे जोड़ा जाए, इस योजना पर भी काम किया जा रहा है।
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