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झारखंड सरकार के श्रम एवं नियोजन विभाग के मंत्री सत्यानन्द भोक्ता ने पांच आदिवासी युवकों को तमिलनाडु पुलिस की हिरासत से मुक्त कराने और राज्य वापसी की पहल करने के लिय राज्य प्रवासी नियंत्रण कच्छ एवं उपायुक्त गुमला को निर्देश दिया है
Ranchi: झारखंड सरकार के श्रम एवं नियोजन विभाग के मंत्री सत्यानन्द भोक्ता ने पांच आदिवासी युवकों को तमिलनाडु पुलिस की हिरासत से मुक्त कराने और राज्य वापसी की पहल करने के लिय राज्य प्रवासी नियंत्रण कच्छ एवं उपायुक्त गुमला को निर्देश दिया है. ज्ञात हो कि दलालों के चक्कर में गुमला जिला के रायडीह प्रखंड के 5 युवक काम की तलाश में 11 जुलाई को झारखंड से तमिलनाडु गये थे. तमिलनाडु पहुंचने पर पांचों युवकों को दलालों ने कैद कर लिया था.
कैसे फंसे दलालों के चक्कर में
अच्छा काम और वेतन की लालच देकर दलाल ने पांचों युवकों को तमिलनाडु बुलाया था. 11 जुलाई को गुमला के पांच युवक तमिलनाडु पहुंचे थे. जहां उन्हें बस स्टैंड से ले जाकर एक घर में कैद कर लिया गया. कैद किये गये युवकों को छोड़ने के लिए प्रति युवक 50,000 रुपये की मांग दलालों ने की. इन युवकों के पास पैसे नहीं थे. जिस कारण पैसा देने में असमर्थता जाहिर की. तब उन्हें घर से पैसा मंगाने के लिए कहा गया.
इस बीच पांचों युवकों ने मौका देख एक दलाल की पिटाई कर कैद से भाग गए. दलालों के द्वारा तमिलनाडु पुलिस के समक्ष मारपीट कर भागने के मामले दर्ज कराया गया था.फिर तमिलनाडु पुलिस ने फोन कॉल ट्रेस कर इनका लोकेशन निकाला, गुमला जिला के पांचों युवक खबर लिखे जाने तक तमिलनाडु पुलिस की हिरासत में हैं.
इस पूरे मामले में झारखंड सरकार के श्रम एवं नियोजन विभाग के मंत्री सत्यानंद भोक्ता ने प्रवासी नियंत्रण कक्ष और गुमला उपायुक्त को युवकों को सकुशल राज्य वापसी के लिए पहल करने का निर्देश दिया.
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