झारखंड

जमशेदपुर : 1200 से अधिक घर बाढ़ में डूबे, बुलाई गई एनडीआरएफ की टीम, सेना को भी किया गया अलर्ट

Renuka Sahu
21 Aug 2022 4:50 AM GMT
Jamshedpur: More than 1200 houses submerged in flood, NDRF team called, Army also alerted
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फाइल फोटो 

खरकई और स्वर्ण रेखा नदी का जलस्तर खतरे के ऊपर जाने के बाद जमशेदपुर के नदी तटीय इलाकों में बाढ़ ने बड़ी तबाही मचाई है.

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। खरकई और स्वर्ण रेखा नदी का जलस्तर खतरे के ऊपर जाने के बाद जमशेदपुर के नदी तटीय इलाकों में बाढ़ ने बड़ी तबाही मचाई है. बागबेड़ा, जुगसलाई, शास्त्री नगर, राम नगर, श्याम नगर, मानगो के रामनगर, भुइयांडीह और बागुनहातू इलाके में 1200 से अधिक मकान डूब गए हैं. बागबेड़ा में 250 से अधिक मकान डूब गए हैं. वहीं, जिला प्रशासन ने बागबेड़ा और जुगसलाई इलाके में बाढ़ में फंसे लोगों को निकालने के लिए एनडीआरएफ की टीम बुलाई. साथ ही सेना को भी अलर्ट किया गया है.

राहत शिविरों में 500 से अधिक लोग मौजूद

एनडीआरएफ के सदस्यों ने नाव के जरिए बाढ़ में फंसे लोगों को निकाला. वहीं, शास्त्री नगर में भी 350 से अधिक मकान डूबे हैं. मानगो का रामनगर और शंकोसाई का इलाका डूब गया है. यहां 200 के करीब घर डूबे हैं. जुगसलाई, बागुनहातू, बारीडीह, भुइयांडीह आदि इलाके में भी काफी संख्या में घर डूब गए हैं. जेएनएसी इलाके में राहत शिविरों में 500 से अधिक लोग मौजूद हैं. डीसी विजया जाधव भी रात के तकरीबन 11:30 बजे लाव लश्कर के साथ निकली और बागबेड़ा समेत सभी बाढ़ ग्रस्त इलाकों का निरीक्षण किया.

बागबेड़ा में कई बस्तियां डूबीं

बागबेड़ा में नया बस्ती के अलावा गणेश नगर, शिव नगर, रिवर व्यू कॉलोनी का निचला भाग, प्रधान टोला का निचला हिस्सा, सीपी टोला का निचला हिस्सा और सिद्धू कान्हो बस्ती का निचला हिस्सा डूब गया है. जिला प्रशासन के लोगों द्वारा ऐलान कर लोगों से नदी तट का इलाका छोड़ने को कहा गया. लेकिन कोई नहीं निकल रहा था, लोग अपने घर में दुबके बैठे हुए थे. अचानक घरों में पानी घुसने के बाद लोगों ने छत पर जाकर शोर मचाना शुरू किया. इसके बाद भाजपा नेता व समाजसेवी सुबोध झा ने एडीएम (विधि व्यवस्था) एनके लाल से बात की और टाटा स्टील अर्बन यूटिलिटीज इन्फ्राट्रक्चर सर्विसेज लिमिटेड से नाव का प्रबंध कराने को कहा. लेकिन नाव नहीं मिल सकी. इसके बाद एडीएम ने एनडीआरएफ की टीम बागबेड़ा इलाके में भेजी, तभी बचाव कार्य शुरू किया जा सका और लगभग ढाई सौ परिवारों को बाढ़ ग्रस्त इलाकों से निकालकर राहत शिविरों में ले जाया गया है.

खतरे के निशान से 7.5 मीटर ऊपर बह रही खरकई

बागबेड़ा इलाके में खरकई नदी खतरे से 7.10 मीटर ऊपर बह रही है. खरकई का खतरे का निशान 129 मीटर है. अभी खरकई नदी 136.100 मीटर पर बह रही है. जबकि स्वर्णरेखा नदी का खतरे के निशान 121.50 मीटर है. स्वर्णरेखा नदी 124.36 मीटर पर बह रही है. स्वर्णरेखा नदी खतरे के निशान से 2. 86 मीटर ऊपर बह रही है.

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