झारखंड

आधे खर्च व कम समय में हो रहा अंतिम संस्कार

Admin Delhi 1
8 April 2023 8:05 AM GMT
आधे खर्च व कम समय में हो रहा अंतिम संस्कार
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जमशेदपुर न्यूज़: समय के साथ शव के अंतिम संस्कार का प्रचलन भी बदलने लगा है. पहले पार्थिव शरीर का बिजली से दाह संस्कार करने से लोग परहेज करते थे, लेकिन अब परंपरा टूटने लगी है. ज्यादात्तर लोग आधे खर्च और कम समय में शव का अंतिम संस्कार करना चाहते हैं.

बिष्टूपुर पावर्ती घाट व मानगो नदी किनारे स्वर्णरेखा श्मशान घाट स्थित बिजली शवदाह गृह में लोग इसका इसका उपयोग कर रहे हैं. स्थिति यह है कि अप्रैल 2022 से मार्च 2023 तक बिजली से 2641 और लकड़ी से 689 शव का अंतिम संस्कार हुआ है.

दरअसल, लकड़ी से अंतिम संस्कार करने में परिजनों को परेशानी होती है. शव का कुछ हिस्सा ठीक से जल नहीं पाता है. वहीं, लकड़ी से दाह संस्कार में ज्यादा रकम भी खर्च होते हैं. जानकारी के अनुसार, पावर्ती घाट में बिजली से शव के दाह संस्कार में 1700 रुपये और लकड़ी से 3300 रुपये लगता है. मालूम हो कि, लकड़ी से शव के दाह संस्कार में ढाई से साढ़े तीन घंटे का समय लगता है. वहीं, बिजली से एक-सवा घंटे में अंतिम संस्कार हो जाता है. हालांकि, जुगसलाई शिव श्मशान और बिष्टूपुर पार्वती श्मशान घाट पर अंतिम संस्कार में अब गाय के गोबर से तैयारी उपला का भी इस्तेमाल हो रहा है.

अबतक 232 शव का निशुल्क संस्कार: पावर्ती श्मशान घाट में गरीबों के शव का निशुल्क अंतिम संस्कार भी किया जाता है. अप्रैल 2022 से मार्च 2023 तक 232 शव का समिति ने निशुल्क अंतिम संस्कार कराई है. इसमें 3 लाख 94 हजार चार सौ रुपये खर्च हुए हैं.

जल्द होगा शुरू गैस प्लांट दीपेंद्र: श्मशान घाट समिति के सचिव दीपेन्द्र कुमार भट्ट ने बताया कि शव जलाने के लिए गैस प्लांट भी बनकर तैयार है. एक-दो महीने में प्लांट से शव के अंतिम संस्कार की प्रक्रिया शुरू होने की उम्मीद है. इसमें बिजली की अपेक्षा और कम समय लगेगा.

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