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जम्मू घने कोहरे की चपेट में , जनजीवन, हवाई, रेल परिचालन प्रभावित
जम्मू।जम्मू में मंगलवार सुबह घने कोहरे की चादर के कारण आम जनजीवन बुरी तरह प्रभावित रहा जबकि हवाई और रेल परिचालन पर भी इसका प्रतिकूल असर पड़ा। मौसम विभाग के एक अधिकारी ने कहा,"अगले कुछ दिनों तक कोहरा बना रहेगा, जिससे ठंड से कोई राहत नहीं मिलेगी।" उन्होंने कहा कि इसके बाद मौसम में सुधार होगा।
सूरज ने लुकाछिपी का खेल खेला लेकिन कोहरे और सर्द मौसम ने शीतकालीन राजधानी में सड़क, हवाई और रेल यातायात को प्रभावित कर सामान्य जनजीवन अस्त-व्यस्त कर दिया।
जम्मू हवाईअड्डे के अधिकारी ने कहा,"कोहरे के कारण मंगलवार को चार उड़ानें रद्द की गईं और कुछ में देरी हुई।" उन्होंने कहा कि सुबह कोई उड़ान नहीं भरी और खराब दृश्यता के कारण कोई भी लैंडिंग नहीं हुआ लेकिन दृश्यता में सुधार के बाद दोपहर में परिचालन फिर से शुरू हो गया।
इस बीच, रेलवे के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि ट्रेनें अपने निर्धारित समय से तीन से पांच घंटे देरी से पहुंच रही हैं।
जम्मू तवी रेलवे स्टेशन के स्टेशन निदेशक अंचित सिंघल ने कहा,"घने कोहरे के कारण ट्रेनों का परिचालन बुरी तरह प्रभावित हुआ है।
" उन्होंने कहा,"बाहरी लंबे रूट की ट्रेनें निर्धारित समय से कुछ घंटे देरी से पहुंच रही हैं, जिसके कारण रखरखाव का काम भी प्रभावित हुआ है।" उन्होंने कहा,"लेकिन हम इसे संतुलित करने की कोशिश कर रहे हैं ताकि देरी से आने वाली ट्रेनें निर्धारित समय से कुछ घंटों में प्रस्थान करें। प्लेटफॉर्म पर यात्रियों की भीड़ को रोकें।"
साथ ही गणतंत्र दिवस की तैयारियों के मद्देनजर विशेष उपाय भी किए जा रहे हैं और बाहरी व गैर-यात्रियों पर नजर रखी जा रही है। उन्होंने कहा कि यात्रियों को कोविड गाइडलाइंस और एसओपी जैसे मास्क पहनना और सैनिटाइजर का इस्तेमाल करने की सलाह भी दी जा रही है।
मौसम विज्ञानियों ने कहा कि मैदानी इलाकों में धीरे-धीरे दृश्यता में सुधार होने की संभावना है, जबकि 11-13 जनवरी को जम्मू के मैदानी इलाकों में व्यापक मध्यम बर्फबारी/बारिश के साथ ऊंचाई वाले क्षेत्रों में भारी बर्फबारी की भविष्यवाणी की गई है।
कड़ाके की ठंड को देखते हुए प्रशासन ने स्कूलों में शीतकालीन अवकाश 16 जनवरी तक बढ़ा दिया है। कई स्कूल प्राथमिक विंग के लिए ऑनलाइन कक्षाएं संचालित कर रहे हैं।
जम्मू के मैदानी इलाकों में लोग विशेष रूप से सड़क के किनारे विक्रेताओं को खुद को ठंड से बचाने के लिए जलाऊ लकड़ी और लकड़ी का कोयला जलाते देखा गया, जबकि व्यापारिक घरानों ने कठोर मौसम से आगंतुकों को राहत देने के लिए वार्मर और इलेक्ट्रिक हीटर लगाए हैं।
कोहरे के कारण किसी अप्रिय घटना से बचने के लिए सड़कों पर हेडलाइट जलाकर वाहन कछुआ गति से चल रहे थे।