हिमाचल प्रदेश

हिमाचल में पांच मुख्य रोप-वे का होगा सेफ्टी ऑडिट, आईआईटी कानपुर और रूडक़ी से संपर्क कर रही सरकार

Renuka Sahu
7 July 2022 4:38 AM GMT
There will be safety audit of five main ropeways in Himachal, government in contact with IIT Kanpur and Roorkee
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फाइल फोटो 

हिमाचल में संचालित पांच मुख्य रोप-वे का सेफ्टी ऑडिट अब स्वतंत्र एजेंसी करेगी।

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। हिमाचल में संचालित पांच मुख्य रोप-वे का सेफ्टी ऑडिट अब स्वतंत्र एजेंसी करेगी। आईआईटी कानपुर और रूडक़ी से प्रदेश सरकार संपर्क साध रही है। अब जल्द ही इन दोनों संस्थानों से विशेषज्ञों का दल पांचों रोप-वे के सेफ्टी ऑडिट के लिए हिमाचल आएगा। शुरुआती चरण में लोक निर्माण विभाग ने सेफ्टी ऑडिट का फैसला किया था और इसके लिए दस दिन निर्धारित किए गए थे, लेकिन अब विभाग ने हिमाचल से बाहर के विशेषज्ञों को इस काम में तैनात करने का निर्णय लिया है। इस कड़ी में दोनों प्रमुख संस्थानों से संपर्क साधा जा रहा है। सेफ्टी ऑडिट में रोप-वे की सुरक्षा प्रणाली की जांच की जाएगी। रोप-वे कब से चलाए जा रहे हैं और इन्हें चलाना सुरक्षित है या नहीं, इन तमाम पहलुओं की जांच विशेषज्ञ करेंगे।

इसके बाद लोक निर्माण विभाग के माध्यम से हिमाचल सरकार को इसकी रिपोर्ट सौंपी जाएगी। इस रिपोर्ट के आधार पर रोप-वे की सुरक्षा के संबंध में प्रदेश सरकार फैसला लेगी। जिन पांच रोप-वे के सेफ्टी ऑडिट करवाने का फैसला लिया गया है इनमें शिमला, धर्मशाला, नयनादेवी, मनाली और सोलन का टीटीआर रोप-वे शामिल है। बहरहाल, विशेषज्ञों की रिपोर्ट के आधार पर ही हिमाचल में रोप-वे का भविष्य भी तय होगा। रोप-वे को लेकर हिमाचल में संभावनाएं तलाशी जा रही हैं। स्वतंत्र एजेंसी की जांच रिपोर्ट पर इनकी गति निर्भर करेगी।
जांच पूरी होने के बाद मिलेगी मंजूरी
पीडब्ल्यूडी के अतिरिक्त मुख्य सचिव भरत खेड़ा ने बताया कि टीटीआर रोप-वे की जांच सोलन प्रशासन ने पूरी कर ली है। इसकी रिपोर्ट सचिवालय आ चुकी है। इस रिपोर्ट का अवलोकन करने के बाद ही यह तय होगा कि रोप-वे चलाने की हालत में है या नहीं। फिलहाल, रोप-वे को चलाने की इजाजत नहीं दी गई है। प्रदेश के अन्य पांच रोप-वे की जांच स्वतंत्र एजेंसी से करवाई जाएगी। इसे लेकर सरकार के स्तर पर आईआईटी कानपुर और रूडक़ी से बातचीत चल रही है। जल्द ही समझौता होने के बाद विशेषज्ञों के दल को हिमाचल बुलाया जाएगा।
सचिवालय पहुंची परवाणू रज्जु मार्ग जांच की रिपोर्ट
परवाणू में रोप-वे को दोबारा से चलाने की इजाजत अभी नहीं मिली है। बुधवार को सोलन से मामले की जांच रिपोर्ट सचिवालय पहुंच गई। इस रिपोर्ट में उन तमाम पहलुओं का जिक्र किया गया है, जिस वजह से रोप-वे बीच रास्ते में अटक गया था और 11 लोगों की जान मुश्किल में आ गई थी। रिपोर्ट के आधार पर रोप-वे को लेकर आगामी फैसला होना है। दरअसल, 20 जून को हादसे के बाद मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने जांच के आदेश दिए थे और एडीसी सोलन को जांच की जिम्मेदारी दी गई थी। जांच पूरी होने तक रोप-वे को प्रतिबंधित कर दिया था। अब हादसे के करीब 17 दिन बाद सोलन से रिपोर्ट तैयार बनकर शिमला पहुंची है।
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