हिमाचल प्रदेश

शिमला-मटौर व मंडी-पठानकोट फोरलेन परियोजना को मिली सैद्धांतिक मंजूरी: सुक्खू

Shantanu Roy
10 March 2023 9:26 AM GMT
शिमला-मटौर व मंडी-पठानकोट फोरलेन परियोजना को मिली सैद्धांतिक मंजूरी: सुक्खू
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शिमला। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि शिमला-मटौर व मंडी पठानकोट फोरलेन परियोजना को सैद्धांतिक मंजूरी मिल गई है। उन्होंने कहा कि दोनों सड़कों के ऊपर 22 हजार करोड़ रुपए खर्च होंगे। इसमें करीब 10 हजार करोड़ रुपए की शिमला-मटौर तथा लगभग 12 हजार करोड़ रुपए की पठानकोट-मंडी तक फोरलेन सड़क पर खर्च होंगे, साथ ही प्रदेश में सड़कों के विस्तारीकरण के दौरान पहाड़ों की कटाई से होने वाले भू-स्खलन एवं पत्थर इत्यादि गिरने से रोकने के लिए भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण एक कांसैप्ट पेपर तैयार करेगा। इन सड़कों पर पत्थर एवं मलबा इत्यादि गिरने से रोकने की परियोजना पर एनएचएआई के माध्यम से लगभग 300 करोड़ रुपए व्यय किए जाएंगे। सीएम सुक्खू भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण की समीक्षा बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। बैठक में हाल ही में मुख्यमंत्री के दिल्ली दौरे के दौरान केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री के साथ प्रदेश में सड़क अधोसंरचना के विकास को लेकर हुई चर्चा के दौरान उठाए गए विभिन्न मामलों की प्रगति की समीक्षा की गई। दिल्ली में प्राधिकरण के सदस्य मनोज कुमार इस बैठक में विशेष रूप से उपस्थित रहे। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने वन स्वीकृतियों सहित अन्य सभी प्रक्रियाओं को सरल एवं समयबद्ध किया है। राज्य सरकार सड़कों के विकास में प्राधिकरण को हरसंभव मदद करेगी। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने कांगड़ा को पर्यटन राजधानी के रूप में विकसित करने का निर्णय लिया है।
इस दृष्टि से भी पठानकोट-मंडी व शिमला-मटौर फोरलेन सड़क परियोजनाएं महत्वपूर्ण हैं। उन्होंने कहा कि मंडी शहर के समीप 19 किलोमीटर के भाग को छोड़कर पठानकोट-मंडी फोरलेन सड़क परियोजना के विभिन्न पैकेज की विस्तृत परियोजना रिपोर्ट शीघ्र तैयार की जाए। इसके अतिरिक्त उन्होंने हमीरपुर बाईपास की डीपीआर जल्द तैयार करने के भी निर्देश दिए। बैठक में लोक निर्माण विभाग मंत्री विक्रमादित्य सिंह, मुख्य संसदीय सचिव संजय अवस्थी, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव भरत खेड़ा, प्रधान सचिव आर.डी. नजीम व ओंकार चंद शर्मा, भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के क्षेत्रीय अधिकारी अब्दुल बासित और अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार विद्युत चालित वाहनों के संचालन को भी बढ़ावा दे रही है। ऐसे में प्राधिकरण इन फोरलेन सड़क परियोजनाओं में विद्युत चालित वाहनों के लिए उचित दूरी पर चार्जिंग स्टेशन का भी प्रावधान रखे। उन्होंने कहा कि सड़कों की दूरी कम करने तथा लोगों के बहुमूल्य समय की बचत के उद्देश्य से यहां सुरंग निर्माण की संभावनाएं भी तलाशी जाएं। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने संबंधित उपायुक्तों को परियोजनाओं के लिए भूमि अधिग्रहण प्रक्रिया में तेजी लाने के आदेश दिए। उन्होंने भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के सहयोग से बस पोर्ट का व्यावसायिक मॉडल तैयार करने के निर्देश भी दिए। इसके अलावा रोप-वे परियोजनाओं विशेष तौर पर हिमानी चामुंडा एवं बिजली महादेव रोप-वे के विकास में एनएचएआई से आवश्यक सहयोग पर भी बैठक में विस्तार से चर्चा की गई। इसके अतिरिक्त फोरलेन सड़कों के मैदानी क्षेत्रों वाले भागों में वाहनों की गति सीमा बढ़ाने, इन सड़क मार्गों के किनारे वे-साइड सुविधाएं उपलब्ध करवाने तथा राजस्व आबंटन से संबंधित मामलों पर भी विचार-विमर्श किया गया।
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