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हिमाचल प्रदेश
मौत के घाट उतारी गई गर्भवती, 7 महीने बाद हिमाचल पुलिस को मिला जवाब
Gulabi Jagat
24 Dec 2022 3:32 PM GMT

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शिमला, 24 दिसंबर: कौन थी, वो गर्भवती महिला, मर्डर के बाद नारकंडा में लाश को किसने लगाया गया था ठिकाने…इस सवाल का जवाब मिलने में बेशक ही 6 महीने का समय लगा है लेकिन जवाब मिल गया है।
कहते है, कानून के हाथ लंबे होते है..शातिर से भी शातिर मुजरिम जितना भी सोच ले कि उसने एक परफेक्ट क्राइम (Perfect Crime) को अंजाम दिया है, ये अपराधी की गलतफहमी ही होती है। हर गुनाह के पीछे मुजरिम निशान छोड़ ही जाता है। इस वारदात में भी ऐसा ही हुआ था। ये अलग बात है कि पुलिस को समय लगा। खैर, 6 महीने से सुकून की जिंदगी व्यतीत करने वाला हत्यारा पुलिस के शिकंजे में आ ही गया है। सैकड़ों किलोमीटर दूर लिव इन रिलेशनशिप में रह रही अपनी पार्टनर को हिमाचल की वादियों में घुमाने लाया था, लेकिन जेहन में एक खौफनाक अपराध को अंजाम देने की स्क्रिप्ट लिख रखी थी। वारदात को अंजाम देने के लिए हत्यारा (Murderer) उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद से हिमाचल के कुमारसैन इलाके में पहुंचा था।
35 साल की लिव इन पार्टनर को चुन्नी से गला घोट मौत के घाट उतार दिया था। घटना को अंजाम देने के बाद दो साल की बेटी को वापस लेकर गाजियाबाद लौट गया। यकीन मानिए, हत्यारा ये समझ बैठा था कि जैसे-जैसे समय बीतता जाएगा, उसके गुनाह पर भी मिट्टी की परत मोटी होती चली जाएगी। लेकिन अब जल्द ही गाजियाबाद पुलिस हत्यारे रमन को हिमाचल पुलिस को सुपुर्द कर देगी। क्योंकि उसके खिलाफ हत्या का ट्रायल हिमाचल में ही चलेगा। गौरतलब है कि जून 2022 में कुमारसैन पुलिस ने युवती की शिनाख्त को लेकर सोशल मीडिया में अभियान शुरू किया था। इसको लेकर एमबीएम न्यूज नेटवर्क में भी "हेल्प हर फॉर जस्टिस" की टैग लाइन से 17 जून 2022 को समाचार प्रकाशित किया था। रामपुर के डीएसपी चंद्रशेखर ने यह तो माना कि मर्डर का केस क्रेक हो गया है। फ़िलहाल इतना ही कहा कि उत्तर प्रदेश व हिमाचल पुलिस के ज्वाइंट ऑपरेशन में यह मामला सुलझाया गया है। इससे जुड़ी अधिक जानकारी पुलिस अधीक्षक के स्तर पर साझा की जाएगी।
ये है प्यार से अपराध तक की दास्तां
उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद के "इंदिरापुरम थाना क्षेत्र के वसुंधरा इलाके में दिव्या (35) 2018 से रमन के साथ लिव इन रिलेशनशिप में रह रही थी। इस दौरान दो साल पहले एक बेटी के माता -पिता भी बने। ऐसा भी सामने आ रहा है कि दिव्या के साथ लिव इन में रहने के दौरान रमन ने एक अन्य महिला से शादी कर ली। यह बात जब दिव्या को पता चली तो दोनों में अक्सर झगड़ा होने लगा। उत्तर प्रदेश पुलिस के समक्ष रमन ने पूछताछ में गुनाह को कबूल करते हुए बताया कि रोज की लड़ाई से तंग आकर वारदात को अंजाम दिया है। दिव्या की मां ने गाजियाबाद के इंदिरापुरम थाना में बेटी की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई थी।
ये सामने आया है कि दिव्या की हत्या 19 मई को ही कर दी गई थी, शिमला की कुमारसैन पुलिस ने नारकंडा के जंगल में अज्ञात शव 26 मई को बरामद किया था। गला घोंटकर उसकी हत्या करके शव जंगल में फेंक दिया गया था।
ऐसे बढ़ा शक
गाजियाबाद की पॉश कॉलोनी वसुंधरा में रहने वाले आरोपी रमन पर दिव्या की माँ ने सबसे पहले शक जाहिर किया। मां से जब दिव्या का लंबे समय तक संपर्क नहीं हुआ, तो पुलिस में शिकायत दर्ज करवाई। हालांकि रमन ने भी वारदात को अंजाम देने के बाद दिव्या की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज करवाई थी। दिव्या की पहचान माँ ने ही टैटू और कपड़ों से है।
ये जुड़े पहलु
आरोपी ने पूछताछ में बताया कि वो 19 मई को अपनी लिव इन पार्टनर दिव्या को घुमाने के बहाने शिमला ले गया था। इसी दिन किन्नौर जाने वाले हाईवे पर सुनसान इलाके में दिव्या की गला दबाकर हत्या कर दी। इसके बाद शव जंगल में फेंक दिया। वापस लौटकर झूठी गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज करवा दी। इसके बाद वो चैन से रहने लगा। पोस्टमॉर्टेम रिपोर्ट में खुलासा हुआ था कि दिव्या गर्भवती थी। मौत का कारण दम घुटना बताया गया था। पुलिस ने आईपीसी-302 के तहत मामला दर्ज किया था। हिमाचल पुलिस की भरसक कोशिश के बाद भी मृतक महिला की पहचान नहीं हो पाई थी। जून माह में हिमाचल की कुमारसैन पुलिस ने 21 दिन तक पहचान न होने के बाद सोशल मीडिया के जरिये भी मदद मांगी।
पुलिस ने बताया था कि युवती के शरीर पर कई टैटू बने हुए हैं। मरने वाली युवती के हाथ पर 'A ' भी लिखा हुआ है। कंधे के पीछे पीठ पर बाईं (Left Side Shoulder Back) पर तितली का टैटू (ButterFly Tattoo) गुदा हुआ है, साथ ही दाहिने हाथ पर 'आई लव मॉम-पॉप जेड' (I Love Mom PopZ) भी लिखा हुआ है। वहीं, छाती के बाई तरफ अंगेजी में 'रोशन प्रिंस' लिखवाया गया है। युवती का कद 5 फुट चार इंच है। दीगर है कि बरामदगी के समय महिला का शव पूरी तरह से क्षत-विक्षत हालत में था। चेहरे को भी बिगाड़ दिया गया था। बता दे कि षड्यंत्र के तहत आरोपी ने शिमला की तरफ निकलने से पहले 18 मई को दिव्या का फोन भी तोड़ दिया था।
मोबाइल ने खोला राज
22 मई को बेटी के गायब होने की शिकायत दिव्या की माँ ने पुलिस को दी। बेटी के साथ रमन के अलावा तीन पर आशंका जाहिर की। पुलिस ने अपहरण का मुकदमा दर्ज किया। रमन के मोबाइल की लोकेशन से पता चला कि 19 मई को मात्र एक दिन के लिए वो शिमला गया था। इससे शक गहराया। सख्ती से पूछताछ में बताया कि 19 मई को वह कार से दिव्या और दो साल की बेटी आमायरा को घुमाने के बहाने शिमला गया था। रात करीब आठ बजे हत्या कर दी। शातिर बेटी को गोद में उठाकर दिव्या के बारे में पुलिस से पूछने जाता था,इस कारण पुलिस को भी शक नहीं हुआ।

Gulabi Jagat
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