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हिमाचल का पर्यटन कारोबार किसान आंदोलन से हुआ प्रभावित
शिमला: किसान आंदोलन ने प्रदेश के पर्यटन कारोबार को भी प्रभावित कर दिया है। जिला सोलन के प्रमुख पर्यटन स्थलों कसौली और चायल में पिछले कुछ दिनों के भीतर पर्यटकों की आमद में भारी कमी आई है। इतना ही नहीं होटल कारोबारियों की मानें तो अब पर्यटक आगामी दिनों के लिए कराई गई एडवांस बुकिंग को भी रद्द कर रहे हैं। हालात ऐसे पैदा हो गए हैं कि इन पर्यटन स्थलों में केवल 10-20 प्रतिशत की ऑक्यूपेंसी ही दर्ज की जा रही है। पंजाब-हरियाणा बॉर्डर पर डटे किसानों के आंदोलन का असर सीधे तौर पर सोलन जिला के पर्यटन कारोबार पर भी हुआ है। इन दिनों एडवांस बुकिंग भी रद्द हो रही है। होटल कारोबारियों को रोजाना एडवांस बुकिंग रद्द करने को लेकर फोन आ रहे है। पर्यटकों ने पूर्व में एडवांस बुकिंग तो कर ली, लेकिन अब किसान आंदोलन के चलते बाहरी राज्यों की सीमा पर तनाव को देखते हुए आने से घबरा रहे हैं।
्र इस सप्ताहांत पर पर्यटन नगरी कसौली और चायल में पर्यटन कारोबार मंदा रहा। होटल कारोबारियों का कहना है कि कसौली में सप्ताहांत पर करीब 20 प्रतिशत ऑक्यूपेंसी रही, जबकि चायल में तो पर्यटन कारोबार न के बराबर ही है। बाहरी राज्यों से कम संख्या में पर्यटक आने से जिला के पर्यटन स्थल इस सप्ताहांत पर रविवार को सुनसान नजर आए। पर्यटकों के न आने से होटल कारोबारियों सहित स्थानीय दुकानदारों और टैक्सी ऑपरेटरों की परेशानियां बढ़ गई है। क्रिसमस व नववर्ष के अवसर पर इन पर्यटन क्षेत्रों में पर्यटकों की संख्या काफी बढ़ी हुई थी, लेकिन बारिश व बर्फबारी न होने के चलते 15 जनवरी के बाद पर्यटकों की संख्या कम हो गई थी। हालांकि फरवरी माह के शुरूआत में प्रदेश के ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बर्फबारी के बाद चायल और कसौली में पर्यटन कारोबार में बढ़ोतरी हुई थी। कसौली में सप्तहांत के अलावा बाकि दिनों में कारोबार न के बराबर था।