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चार रुपये महंगा सेब खरीदेगी अदाणी एग्री फ्रेश कंपनी

Admin4
15 Aug 2022 10:23 AM GMT
चार रुपये महंगा सेब खरीदेगी अदाणी एग्री फ्रेश कंपनी
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न्यूज़क्रेडिट: अमरउजाला

अदाणी एग्री फ्रेश कंपनी 80 से 100 फीसदी रंग वाले एक्स्ट्रा लार्ज सेब को 52 रुपये प्रति किलो जबकि लार्ज, मीडियम और स्माल सेब को 76 रुपये प्रति किलो की दर पर खरीदेगी।

अदाणी एग्री फ्रेश कंपनी बीते साल के मुकाबले चार रुपये महंगा सेब खरीदेगी। कंपनी सोमवार से तीन कलेक्शन सेंटरों पर खरीद शुरू करेगी। रविवार को कंपनी ने अपने रेट जारी कर दिए हैं। इस सीजन में कंपनी ने 25,000 मीट्रिक टन सेब खरीदने का लक्ष्य रखा है, जो बीते साल से 7,000 मीट्रिक टन ज्यादा है। कंपनी 80 से 100 फीसदी रंग वाले एक्स्ट्रा लार्ज सेब को 52 रुपये प्रति किलो जबकि लार्ज, मीडियम और स्माल सेब को 76 रुपये प्रति किलो की दर पर खरीदेगी।

बीते साल एक्स्ट्रा लार्ज सेब 52 जबकि लार्ज, मीडियम और स्माल सेब का रेट 72 रुपये प्रति किलो था। इस सीजन में 60 से 80 फीसदी रंग वाले एक्स्ट्रा लार्ज सेब को 37 रुपये किलो जबकि लार्ज, मीडियम और स्माल आकार का सेब 61 रुपये प्रति किलो की कीमत पर खरीदा जाएगा। 60 फीसदी से कम रंग वाले सेब की खरीद 20 रुपये प्रति किलो की कीमत पर होगी। पिछले साल ऐसा सेब 15 रुपये किलो खरीदा गया था। छोटे आकार का पित्तू सेब 52 रुपये प्रति किलो खरीदा जाएगा जबकि पिछले साल ऐसे सेब के रेट 42 रुपये निर्धारित किए गए थे।

कंपनी ने 15 से 19 अगस्त तक के लिए ये रेट जारी किए हैं। 19 अगस्त के बाद रेट में बदलाव किया जाएगा। अदाणी के ठियोग के सैंज, रोहड़ू के मेहंदली और रामपुर के बिथल में कलेक्शन सेंटर हैं। अदाणी एग्री फ्रेश के टर्मिनल मैनेजर पंकज मिश्रा ने बताया कि मंडियों के मुकाबले अदाणी ने अच्छे रेट खोले हैं। इस साल छोटे आकार का सेब अधिक है, इसलिए कंपनी ने बागवानों के हितों को ध्यान में रखते हुए बीते साल के मुकाबले छोटे सेब के दाम 10 रुपये अधिक तय किए हैं।

अदाणी के दबाव में काम कर रही सरकार : मंच

संयुक्त किसान मंच ने अदाणी के रेट पर असंतोष जताया है। मंच के संयोजक हरीश चौहान और सह संयोजक संजय चौहान का कहना है कि मुख्यमंत्री और मुख्य सचिव ने निजी कंपनियों के रेट तय करने के लिए सरकारी कमेटी गठित करने की घोषणा की थी। कमेटी कहां है, किसी को पता नहीं। अदाणी ने जो रेट घोषित किए हैं, वह कम हैं। जिस अनुपात में लागत बढ़ी है, उस अनुपात में रेट नहीं बढ़ाए गए हैं। उन्होंने कहा कि सरकार अदाणी व अन्य कंपनियों के दबाव में काम कर रही है।

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