हिमाचल प्रदेश

9317 जल स्कीमें बनी शोपीस, प्रदेश में 1200 सडक़ों पर थमी रफ्तार

Gulabi Jagat
15 Aug 2023 11:19 AM GMT
9317 जल स्कीमें बनी शोपीस, प्रदेश में 1200 सडक़ों पर थमी रफ्तार
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शिमला: हिमाचल में हो रही भारी बारिश के कारण जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। राज्य में बिजली, पानी और सडक़ सुविधाएं बुरी तरह से प्रभावित हुई है। करीब आधा हिमाचल अंधेरे में डूब गया है। राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की ओर से जारी रिपोर्ट के अनुसार प्रदेश में करीब 4500 बिजली के ट्रांसफार्मर बंद हो गए हैं। इतनी ज्यादा संख्या में ट्रांसफार्मर बंद होने से प्रदेश के हजारों गांवों में अंधेरा पसर गया है। ऐसे में लोगों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। मंडी और हमीरपुर जिला में सबसे ज्यादा बिजली के ट्रांसफार्मर बंद है। रिपोर्ट के मुताबिक मंडी जिला में करीब 2600, हमीरपुर में 948, चंबा में दो, कांगड़ा में एक, कुल्लू में 414, शिमला में 348, सिरमौर में 99, सोलन में 103 व ऊना में 103 ट्रांसफार्मर बंद है। बिजली व्यवस्था के अलावा हिमाचल में पेयजल आपूर्ति भी बंद हो गई है। पूरे प्रदेश में 9317 पेयजल स्कीमें बंद है। इनमें धर्मशाला सर्किल में 1056, चंबा में 619 नूरपुर में 298, सुंदरनगर में 970, कुल्लू में 698, लाहुल-स्पीति में 60, हमीरपुर में 641, बिलासपुर में 411, ऊना में 560, धर्मपुर में 586, नाहन में 630, सोलन में 609, ऊना में 15 व शिमला में 20 पेयजल स्कीमें बंद है।
छह नेशनल हाई-वे भी आपदा का शिकार
बिजली और पानी के अलावा प्रदेश में यातायात व्यवस्था भी बुरी तरह से प्रभावित है प्रदेश में जगह-जगह भू-स्खलन के कारण कई सडक़ बंद हो गई है। इन सडक़ों के बंद होने से प्रदेश के ज्यादातर क्षेत्र में यातायात व्यवस्था पूरी तरह से ठप हो गई है। लोक निर्माण विभाग से प्राप्त जानकारी के अनुसार प्रदेश में छह राष्ट्रीय राजमार्गों के अलावा करीब 1200 सडक़ें बंद है। शिमला जोन में 369, मंडी जोन में 309, हमीरपुर जोन में 331 और कांगड़ा जोन में 184
सडक़ें बंद है।
3600 रूट बंद, सिर्फ 100 रूट पर दौड़ी एचआरटीसी बसें
स्टाफ रिपोर्टर-शिमला
हिमाचल प्रदेश में बारिश के कारण एचआरटीसी की सेवाएं पूरी तरह से प्रभावित हुई है। हिमाचल प्रदेश में कुल 3700 बस रूटों पर एचआरटीसी सेवाएं प्रदान करता है, लेकिन सोमवार को सिर्फ 100 ही रूटों पर एचआरटीसी की बसें चली। एचआरटीसी को एक ही दिन में करोड़ों रुपए का नुकसान उठाना पड़ा है। एचआरटीसी प्रबंधन से प्राप्त जानकारी के अनुसार सोमवार को एचआरटीसी की सेवाएं सिर्फ हमीरपुर , ऊना, होशियारपुर, कांगड़ा, पठानकोट और बैजनाथ -पालमपुर क्षेत्र में ही बहाल रही। इसके अलावा प्रदेश के अन्य सभी क्षेत्रों में एचआरटीसी की सेवाएं पूरी तरह से बंद रही। प्रदेश में जगह-जगह पर हो रही भू-स्खलन की घटनाओं के कारण एचआरटीसी की करीब 400 बसें प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों में फंस गई है।
बाढ़ में एक बस बही, एक के ऊपर गिरा पेड़
एचआरटीसी के अधिकारियों ने बताया कि मंडी जिला के थाना में शिव नगर के समीप एचआरटीसी की एक बस बादल फटने के कारण बह गई है। वहीं एक बस और टैम्पो ट्रैवलर के ऊपर शिमला में पेड़ गिरा है। पेड़ गिरने से इन दोनों गाडिय़ों को काफी ज्यादा नुकसान हुआ है।
प्रदेश भर में सेवाएं ठप
एचआरटीसी के प्रबंध निदेशक रोहन चंद्र ठाकुर ने बताया कि भारी बारिश के कारण एचआरटीसी की सेवाएं लगभग पूरे प्रदेश में प्रभावित रही। हम प्रदेश में 3700 रूटों पर बसों का संचालन करते हैं, लेकिन सोमवार को सिर्फ 100 रूट पर ही बसे चल पाई। एचआरटीसी को करीब एक करोड़ से ज्यादा का नुकसान एक ही दिन में उठाना पड़ा है
फतेहपुर में बहा 11 साल का किशोर
जवाली। पुलिस थाना फतेहपुर के तहत पंचायत ठेहड़ के 11 वर्षीय मासूम की खड्ड के तेज बहाव में बहने से मौत हो गई। मृतक की पहचान आदर्श पुत्र प्रकाश चंद निवासी ठेहड़ के रूप में हुई है। प्राप्त जानकारी के अनुसार आदर्श पुत्र प्रकाश चंद रविवार को पशुओं को चराने के लिए गया था लेकिन रात को घर वापस नहीं पहुंचा। सभी परिचितों से फोन पर पूछा गया, लेकिन कोई सुराग नहीं मिला। आखिरकार सोमवार सुबह उसका शव फतेहपुर खड्ड के किनारे पड़ा मिला। पुलिस ने मौका पर पहुंचकर शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। पुलिस ने केस दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है। एसपी नूरपुर अशोक रतन ने इसकी पुष्टि की है।
बारिश का अलर्ट, जरूरी काम पर ही घर से बाहर निकलें लोग
प्रदेश में प्राकृतिक आपदा के चलते नदी-नाले उफान पर
पुलिस ने जारी की एडवाइजरी, सावधानी बरतें
स्टाफ रिपोर्टर-शिमला
प्रदेश में प्राकृतिक आपदा के चलते नदी-नाले उफान पर हैं। ऐसे में पुलिस मुख्यालय और ट्रैफिक टूरिस्ट एवं रेलवे पुलिस ने एडवाइजरी जारी कर लोगों को नदी-नालों के किनारे न जाने की सलाह दी है। नदी के किनारे भवनों को खाली करवाया जा रहा है। पुलिस की ओर से बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों और नदियों के आसपास पेट्रोलिंग की जा रही है। जिन सडक़ों में लगातार भू-स्खलन हो रहा है, वहां लोगों को सफर करने के लिए मना किया जा रहा है। पुलिस मुख्यालय ने आपदा के चलते कंट्रोल रूम भी स्थापित किया है। लोग 112 नंबर पर फोन कर आपदा संबंधित सूचना दे सकेंगे। ट्रैफिक टूरिस्ट एवं रेलवे पुलिस द्वारा टूरिस्ट एवं आम जनता को भारी बारिश को मद्देनजर रखते हुए सुरक्षा दिशा-निर्देश जारी किए हैं। यात्रियों व आम जनता को सलाह दी जाती है कि वे नदी के किनारे भू-स्खलन संभावित क्षेत्रों की ओर जाने से बचें। इसके अलावाए यात्रियों को इस संबंध में समय-समय पर राज्य में जिला मजिस्ट्रेटों और डीडीएमए द्वारा जारी दिशानिर्देशों का पालन करने की सलाह दी जाती है।
बिलासपुर के चार गांवों को खतरा
घुमारवी-झंडूता उपमंडल में कहर, 150 करोड़ रुपए का नुकसान
अश्वनी पंडित-बिलासपुर
बरसात में निरंतर जारी बारिश के तांडव से बिलासपुर जिला में काफी तबाही हुई है। घुमारवीं उपमंडल में तीन गांव और झंडूता में एक गांव खतरे की जद में आए हैं, जिन्हें प्रशासन ने खाली करवाकर प्रभावित हुए ग्रामीणों को सरकारी स्कूलों में आश्रय दिया गया है। इसके अलावा कई रिहायशी मकान व गोशालाएं गिर गई हैं, तो कई जगहों पर मकान व मवेशीखानों के गिरने का खतरा बना है। जिला में अधिकतर संपर्क सडक़ें लैंड स्लाइड की वजह से बंद हुई हैं, जिनकी बहाली को प्रशासनिक स्तर पर प्रयास जारी हैं। शिमला-मटौर एनएच के बंद होने के बाद बैरी से वाया मलोखर-दाड़लाघाट लिंक रोड का अल्टरनेट दिया था लेकिन बारिश में जगह-जगह लेंडस्लाईड होने के चलते यह मार्ग भी बंद हो गया है। घुमारवीं उपमंडल के एसडीएम गौरव चौधरी ने स्पॉट विजिट किया और आसपास क्षेत्र में हुए नकसान का जायजा भी लिया। विधायक राजेश धर्माणी ने प्रभावित परिवारों को राहत उपलब्ध करवाने के लिए प्रशासन को निर्देश दिए हैं। सीर खड्ड पर 31 पेयजल योजनाएं प्रभावित हुई हैं। -एचडीएम
शिमला-मटौर नेशनल हाई-वे पर थमे पहिए
पिछले तीन दिनों से लगातार जारी भारी बारिश की वजह से 30 करोड़ रुपए के नुकसान का आकलन किया है। अभी तक 120 करोड़ का नुकसान जिला में हो चुका है, जबकि पिछले तीन दिनों में 30 करोड़ के नुक्सान का आंकड़ा मिलाकर कुल नुकसान लगभग 150 करोड़ रुपए तक पहुंच गया है। शिमला-मटौर एनएच व घुमारवीं-जाहू सुपर एक्सप्रेस हाई-वे भी बंद है।
हमीरपुर में तीन की मौत, दो लापता
जिला में बारिश से तबाही का मंजर; मकानों पर गिरे ल्हासे, मलबे में दबा सामान
नीलकांत भारद्वाज-हमीरपुर
भारी बारिश के कारण जिला में पिछले 24 घंटों में तीन लोगों की मौत हो चुकी है और एक महिला सहित दो लोग लापता हैं। अभी तक जुटाई गई जानकारी के मुताबिक जिला में 130 से अधिक सडक़ें लैंड स्लाइडिंग से बंद है, साथ ही 210 से अधिक पेयजल योजनाएं क्षतिग्रस्त हुई हैं। सुजानपुर में रविवार रात दीवार गिरने से एक नेपाली मूल की 23 वर्षीय महिला की मौत हुई है। उधर, भगेटू में मकान के नीचे दबने से बुजुर्ग की मौत हो गई। इसके अलावा भोरंज के लझियाणी में भी एक महिला की जान चली गई। वहीं, कुनाह खड्ड में पैर फिसलने से खड्ड में गिरी एक 54 वर्षीय महिला का कोई सुराग अभी तक नहीं लग पाया है। ब्याड़ खड्ड में फंसे तीन में से दो लोगों को तो निकाल लिया गया था, लेकिन एक व्यक्ति अभी तक लापता चल रहा है। बारिश की वजह से हमीरपुर जिला में लगभग दर्जनों मकान गिर गए हैं। उधर, भोटा के सालन गांव के समीप पहाड़ी से आए मलबे में आधा दर्जन वाहन दब गए हैं। बारिश की वजह से लोक निर्माण विभाग के 130 संपर्क मार्ग बंद हो गए हैं। उधर, बिजली बोर्ड का 33 केवी का सबस्टेशन भी ब्यास में बह गया है। -एचडीएम
पीडब्ल्यूडी ने सडक़ें खोलने को झोंकी ताकत
डीसी हमीरपुर हेमराज बैरवा ने बताया कि 24 घंटों में बारिश के कारण जिला में तीन लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि दो अभी तक लापता हैं। जिला की मुख्य सडक़ें यातायात के लिए खुली हुई हैं। इनके अलावा ग्रामीण क्षेत्रों में बंद हुई सडक़ों को जल्द बहाल करने के लिए लोक निर्माण विभाग की मशीनरी लगाई गई है। बिजली और पानी की आपूर्ति को सुचारू बनाए रखने के लिए भी निर्देश दिए हैं। एसपी डा. आकृति शर्मा ने बताया कि किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए जिला पुलिस भी पूरी तरह अलर्ट पर है।
सिरमौर में मलबे में दबा किशोर
विक्रमबाग में घर गिरने से हादसा, छह लोगों को आई चोटें
सूरत पुंडीर-नाहन
सिरमौर जिला में भारी बारिश ने फिर से तबाही मचाई है। नाहन विधानसभा क्षेत्र के विक्रमबाग में एक मकान के ध्वस्त होने से 14 वर्षीय युवक इमरान की मौत हो गई है, जबकि परिवार के छह अन्य सदस्यों को चोटें आई हैं। जिला में बारिश से मरने वालों का आंकड़ा अब तक 17 हो चुका है। अभी भी 48 घंटे की भारी मूसलाधार बारिश के चलते नाहन विधानसभा क्षेत्र के कंडईवाला में एक महिला व पुरुष लापता हैं। कंडईवाला में बादल फटने के दौरान हुई त्रासदी में एक महिला लापता है। वहीं, एक बुजुर्ग का भी कोई अता-पता नहीं चल पाया है। कंडईवाला में स्कूली बस में फंसे 27 बच्चे व तीन शिक्षकों को पुलिस व होमगार्ड के जवानों के अलावा एनडीआरएफ की टीम ने रेस्क्यू किया। यही नहीं, नाहन-पांवटा मार्ग पर नवोदय स्कूल के समीप एक बाइक पर सवार दो युवकों पर अचानक एक पेड़ गिर गया।
कंडईवाला में बादल फटने से 50 बीघा भूमि व उसमें लगी फसलें पूरी तरह से तबाह हो गई हैं। जिला सिरमौर में बारिश से 350 करोड़ से अधिक का नुकसान हो चुका है। जिला में सर्वाधिक नुकसान लोक निर्माण विभाग को करीब 125 करोड़ रुपए का नुकसान हो चुका है। राष्ट्रीय उच्च मार्ग को करीब सात करोड़, जल शक्ति विभाग को 110 करोड़, विद्युत बोर्ड को 15 करोड़, कृषि विभाग को 32 करोड़, उद्यान विभाग को दो करोड़, पशुपालन विभाग को 70 लाख, स्वास्थ्य विभाग को करीब पांच करोड़ के अलावा सामुदायिक संपत्तियों को साढ़े आठ करोड़ के आसपास का नुकसान अब तक आंका जा चुका है। उधर, उपायुक्त सिरमौर सुमित खिमटा ने बताया कि जिला में बीते 48 घंटों की बारिश के दौरान एक 14 वर्षीय युवक की विक्रमबाग में मौत हुई है। कंडईवाला में दो लोग अभी लापता है। -एचडीएम
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