न्यूज़क्रेडिट; अमरउजाला
परीक्षा के चार घंटे पहले 16 जनवरी 2020 को पदार्थ विज्ञान का पेपर लीक हुआ था। परीक्षा रद करनी पड़ी थी। ढाई साल से अधिक का समय बीत जाने के बाद राज्य चौकसी ब्यूरो ने केस दर्ज किया है।
हरियाणा के कुरुक्षेत्र में श्री कृष्णा आयुष विश्वविद्यालय के बैचलर ऑफ आयुर्वेदिक मेडिसिन एंड सर्जरी (बीएएमएस) का री-अपीयर पेपर लीक होने के मामले में राज्य सतर्कता ब्यूरो (अंबाला) ने विश्वविद्यालय के दो पूर्व कर्मचारियों सहित तीन आरोपियोें पर मामला दर्ज किया है। आयुष विश्वविद्यालय को 16 जनवरी 2020 को परीक्षा से ठीक चार घंटे पहले पेपर लीक की रिपोर्ट मिलने के बाद पदार्थ विज्ञान की परीक्षा रद करनी पड़ी थी। ढाई साल से अधिक का समय बीत जाने के बाद ब्यूरो ने मामला दर्ज करके जांच शुरू कर दी है।
सब इंस्पेक्टर सूबे सिंह ने शिकायत में कहा कि प्रश्नपत्र को 10 हजार से 20 हजार रुपये में बेचा गया था, जिसके बाद विवि के अधिकारियों ने पेपर को रद कर दिया था। विवि अधिकारियों ने पुलिस में कोई शिकायत न करके अपने स्तर पर कमेटी का गठन किया था। जांच के दौरान यह पाया गया था कि विवि ने 16 जनवरी से 31 जनवरी 2020 तक होने वाले सात पेपरों के लिए डेट शीट जारी की थी।
हिसार वासी आरोपी छात्र गौतम सूरा ने वहां के नेशनल कॉलेज ऑफ आयुर्वेद एंड हॉस्पिटल में 2018 में पदार्थ विज्ञान, रचना विज्ञान, क्रिया शरीर, अष्टांग हृदय और संस्कृत में दाखिला लिया था, जिसकी साल 2019 की इन सभी विषयों में री-अपीयर आई थी। छात्र गौतम सूरा ने सभी विषयों में पास होने के लिए अपने पड़ोसी देवेंद्र कुमार (लिपिक कार्यालय जिला आयुर्वेदिक अधिकारी हिसार) वासी आजाद नगर हिसार से संपर्क किया था।
देवेंद्र कुमार साल 2008 से 2019 तक श्री कृष्णा राजकीय आयुर्वेदिक महाविद्यालय कुरुक्षेत्र में वाटर कॅरियर के पद पर कार्यरत था। उसके बाद वर्ष 2019 में क्लर्क के पद पर पदोन्नत होने के बाद कार्यालय जिला आयुर्वेदिक अधिकारी फरीदाबाद भेज दिया था। क्लर्क देवेंद्र ने छात्र को आश्वासन दिया था कि उसका परिचित गणेश गुप्ता विश्वविद्यालय में कंप्यूटर ऑपरेटर है। वह कंप्यूटर ऑपरेटर के माध्यम से उसे उपरोक्त विषय के प्रश्न पत्रों की व्यवस्था कर देगा।
इसके बाद 12 जनवरी को प्रश्नपत्र छात्र को इस आश्वासन के साथ दिए गए कि ये प्रश्न ही परीक्षा में आएंगे। बाद में भुगतान कर देना। अगले दिन 13 जनवरी को छात्र ने अपने साथियों को 16 जनवरी को होने वाली पदार्थ विज्ञान विषय की परीक्षा के प्रश्नपत्र को बेच दिया था। इसके बाद 16 जनवरी को पेपर लीक होने की रिपोर्ट के बाद पेपर रद हो गया।
शिकायतकर्ता के अनुसार पेपर लीक होने के बाद छात्र ने फिर से क्लर्क से संपर्क किया था। तब देवेंद्र कुमार ने छात्र को चिंता न करने का आश्वासन दिया, क्योंकि अन्य पेपर अभी तक हुए नहीं थे। उसने छात्र से अन्य पेपरों के प्रश्नपत्र उपलब्ध कराने के एवज में पैसे पेटीएम करने के लिए कहा था। इस पर आरोपी छात्र ने अन्य एक छात्र की मदद से उसे 10 हजार रुपये छात्र की पेटीएम आईडी से भेजे थे। शिकायत पर ब्यूरो ने क्लर्क, पूर्व कंप्यूटर ऑपरेटर और छात्र के खिलाफ आईटी एक्ट, धारा 120-बी, 201, 409 व 420 के तहत मामला दर्ज करके जांच शुरू कर दी है।
विश्वविद्यालय ने अपने स्तर पर की कार्रवाई : डॉ. धीमान
श्री कृष्णा आयुष विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. बलदेव धीमान ने बताया कि मामला संज्ञान में आने के बाद आउटसोर्सिंग पॉलिसी के तहत लगे कंप्यूटर ऑपरेटर गणेश गुप्ता को हटा दिया गया था। वहीं क्लर्क देवेंद्र कॉलेज का पूर्व कर्मी था, जिसका तबादला हो गया था। विश्वविद्यालय की कमेटी ने अपने स्तर पर जांच करके पदार्थ विज्ञान पेपर को रद्द कर दिया था। वहीं अन्य परीक्षाओं के प्रश्नपत्रों को बदल दिया गया था।