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सोनीपत की छोरी ने फिर की देश का नाम रोशन
सोनीपतः हरियाणा की बेटियां खेलों में लगातार देश और प्रदेश के लिए पदक झटक रही हैं. बहरीन में आयोजित अंडर 15 एशियन कुश्ती चैंपियनशिप (under 15 asian wrestling championship bahrain) में सेक्टर 23 की काजल ने गोल्ड मेडल जीत कर इतिहास रच दिया और पूरे ज़िले का नाम रोशन किया है. काजल ने फाइनल मुकाबले में जापान की खिलाड़ी को हराया है. काजल 9 साल की आयु से पहलवानी कर रही हैं और उसका सपना ऑलंपिक खेलों पदक जीतने का है. काजल खेलों हरियाणा में भी पदक जीत चुकी हैं.
कालज के पति पिता टैक्सी ड्राइवर हैं और चाचा पहलवान हैं. अपने चाचा को देख कर ही काजल पहलवान (sonipat wrestler kajal) बनी हैं. काजल की जीत से उसकी मां-बाप और चाचा सहित सभी बेहद खुश हैं. पहलवान काजल ने एशियन चैंपियनशिप को जीतने के लिए खूब पसीना बहाया है. दंगल में 4-4 घंटे पहलवानी के दांव-पेंच सीख काजल ने ये पहली बड़ी उपलब्धि प्राप्त की है. काजल की इस उपलब्धि पर पूरा शहर जश्न मना रहा है. काजल के पहलवान चाचा ने बताया कि उन्होंने अपनी बेटी को पहलवान बनाने के लिए खुद कुश्ती छोडकर उस पर ध्यान दिया.
उन्होंने कहा की सरकार से अभी तक कोई मदद उन्हें नहीं मिली है और उन्होंन सरकार से मदद की की गुहार लगाई है. काजल ने बताया की उनका पूरा ध्यान आगे आने वाली अंतर्राष्ट्रीय खेल प्रतिस्पर्धाओं पर है. उसने कहा की अंतर्राष्ट्रीय खेल प्रतिस्पर्धाओं में मुकाबला कड़ा होता है और इसलिए बढिया ट्रेनिंग की जरूरत होती है. उसे उम्मीद है की सरकार उसकी मदद करेगी जिससे वो ओर पदक देश के लिए जीत सकेगी. काजल के पडोसियों का कहना की उसने कडी मेहनत कर स्वर्ण पदक जीता है. संदीप ने बताया की उसकी जीत से और लडकियों को भी प्रेरणा मिलेगी
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