हरियाणा

10 KM तक एयरबैग में मुंह से भरती रही हवा, मां की सांस टूटने लगी तो बेटी ने थामी डोर

Admin4
2 Aug 2022 12:17 PM GMT
10 KM तक एयरबैग में मुंह से भरती रही हवा, मां की सांस टूटने लगी तो बेटी ने थामी डोर
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न्यूज़क्रेडिट;अमरउजाला

बेटी ने मां की जिंदगी बचाने के लिए 10 किलोमीटर तक एयर बैग में मुंह से हवा भरी और हिम्मत नहीं हारी। अस्पताल पहुंचने पर स्थिति देख चालक और स्वास्थ्य कर्मी हैरान रह गए। नागरिक अस्पताल से ऑक्सीजन सिलिंडर लगाकर सरकारी एंबुलेंस से पीजीआई रेफर किया गया।

हरियाणा के अंबाला में मुलाना एमएम अस्पताल से छावनी नागरिक अस्पताल रेफर हुई 62 वर्षीय बुजुर्ग महिला की सांसें उस समय अटक गई, जब निजी एंबुलेंस में सिलिंडर से ऑक्सीजन गैस खत्म हो गई। ऐसे में जब निजी एंबुलेंस चालक और अन्य लोगों ने उम्मीद छोड़ दी तो साथ जा रही बेटी ने हिम्मत दिखाई और मां को बचाने के लिए सारी ताकत झोंक दी। ऑक्सीजन एयर बैग में वह करीब 10 किलोमीटर तक मुंह से हवा भरती रही और अस्पताल पहुंचने पर ही दम लिया।

दरअसल नारायणगढ़ के गधौली गांव निवासी रोशनी देवी-62 की तबीयत खराब होने पर दो दिन पहले परिजनों ने उन्हें मुलाना अस्पताल में दाखिल कराया गया था, जहां उनका उपचार चल रहा था। अचानक उनकी तबीयत बिगड़ने पर सोमवार को उन्हें मुलाना अस्पताल से हायर सेंटर के लिए रेफर कर दिया गया। परिजन एक निजी एंबुलेंस में उन्हें लेकर जाने लगे, लेकिन रास्ते में महिला की सांसें उखड़ने लगी।

तब एंबुलेंस चालक को होश आया कि सिलिंडर में आक्सीजन खत्म हो गई है। फिर क्या था, बीमार मां के सांसों की टूटती डोर को थामने के लिए बेटी ने जान लगा दी। मां को बचाने के लिए बेटी की जद्दोजहद देखकर एंबुलेंस चालक और स्वास्थ्यकर्मी भी हतप्रभ रह गए। छावनी नागरिक अस्पताल पहुंचने पर पहले बुजुर्ग महिला को आक्सीजन दी गई। फिर डाक्टरों ने सरकारी एंबुलेंस से महिला को पीजीआई चंडीगढ़ के लिए रवाना कर दिया।



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