गुजरात

NEET PG Counselling: नीट पीजी काउंसलिंग में देरी को लेकर गुजरात में भी प्रदर्शन, अस्पतालों में हो रही दिक़्क़त

Kunti Dhruw
29 Nov 2021 1:54 PM GMT
NEET PG Counselling: नीट पीजी काउंसलिंग में देरी को लेकर गुजरात में भी प्रदर्शन, अस्पतालों में हो रही दिक़्क़त
x
नीट पीजी काउंसलिंग 2021 (NEET PG Counselling) में हो रही देरी के कारण चल रही देशव्यापी हड़ताल का असर गुजरात में भी देखने को मिला।

नीट पीजी काउंसलिंग 2021 (NEET PG Counselling) में हो रही देरी के कारण चल रही देशव्यापी हड़ताल का असर गुजरात में भी देखने को मिला। गुजरात के विभिन्न मेडिकल कॉलेजों के लगभग 1,500 रेजिडेंट डॉक्टरों ने नीट-पीजी काउंसलिंग स्थगित करने के विरोध में सोमवार को एक दिवसीय हड़ताल पर चले गए। हड़ताली डॉक्टरों का कहना था कि प्रवेश में देरी के कारण डॉक्टरों की भारी कमी है जिससे जूनियर डॉक्टरों पर काम का बोझ बढ़ गया है। कोरोना महामारी और ओमिक्रॉन वायरस के बदलते स्ट्रेन को देखकर काम का दवाब और अधिक बढ़ने वाला है।

इसके साथ ही, विभिन्न सरकारी और गुजरात मेडिकल एजुकेशन एंड रिसर्च सोसाइटी (जीएमईआरएस) द्वारा संचालित मेडिकल कॉलेजों के सैकड़ों प्रोफेसरों और व्याख्याताओं ने भी सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों के अनुसार बकाया भुगतान सहित अपनी लंबे समय से लंबित मांगों को लेकर भी राज्य भर में विरोध प्रदर्शन किया। हालांकि, हड़ताल से मरीजों को कोई परेशानी नहीं होगी, क्योंकि रेजिडेंट डॉक्टर आपातकालीन ड्यूटी के लिए उपलब्ध रहेंगे। नीट पीजी काउंसलिंग में देरी पर एक मेडिकल छात्र ने सुझाव दिया कि सरकार नए पीजी बैच के आने तक, सरकारी अस्पतालों में बाहर के डॉक्टरों को नियुक्त करने के बारे में सोचती है, जो मेडिकल कॉलेजों से संबद्ध हैं।
रेजिडेंट डॉक्टरों पर बढ़ रहा अतिरिक्त काम का बोझ
वहीं, अहमदाबाद में बीजे मेडिकल कॉलेज के जूनियर डॉक्टर्स एसोसिएशन (जेडीए) ने एक बयान में दावा किया कि देश के सभी मेडिकल कॉलेज नीट-पीजी काउंसलिंग के "लगातार स्थगन" के कारण कर्मचारियों की भारी कमी का सामना कर रहे हैं। जेडीए अध्यक्ष डॉ विश्वजीत राज ने कहा कि पीजी छात्रों का एक नया बैच नहीं आने मात्र के कारण सिर्फ 66 फीसदी रेजिडेंट डॉक्टर मरीजों को देखने के लिए उपलब्ध हैं। यह रेजिडेंट डॉक्टरों पर एक अतिरिक्त दबाव डाल रहा है, जो पहले से ही लंबे समय से COVID-19 के अतिरिक्त कार्य दवाब से जूझ रहे हैं।
Next Story