गुजरात

यहां अपनी मन्नतों को पूरा करने के लिए महादेव को जीवित केकड़े चढ़ाते हैं लोग

Gulabi Jagat
18 Jan 2023 9:27 AM GMT
यहां अपनी मन्नतों को पूरा करने के लिए महादेव को जीवित केकड़े चढ़ाते हैं लोग
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भगवान को फल, फूल , दूध और प्रसाद चढ़ाते नजर आते हैं लेकिन सूरत में एक ऐसा मंदिर है जहां भगवान को जीवित केकड़े चढ़ाए जाते हैं। लोग अपनी मन्नत पूरी करने के लिए भगवान को जीवित केकड़े चढ़ाते हैं। उत्तरायण के बाद मन्नत को पूरा करने के लिए हजारों लोग इस दिन उमरा स्थित रामनाथ घेला मंदिर में आते हैं।
रामनाथ घेला महादेव का पौराणीक महत्व
इस मंदिर के बारे में एक पुरानी लोककथा है। मंदिर के पुजारी अभिषेक गोस्वामी ने कहा कि हजारों साल पहले जब भगवान राम 14 साल के वनवास पर गए थे। इसी बीच भगवान राम के पिता दशरथ की मृत्यु हो गई। भगवान राम स्वयं वनवास में थे इसलिए वे अपने पिता की तर्पण विधि में नहीं जा सके। इसलिए भगवान राम ने अनुष्ठान करने का फैसला किया था। भगवान राम ने तीर चलाया और पिपलोद में तापी नदी तट पर शिवलिंग प्रकट किया।
समुद्र देव ने केकड़ों का श्रीराम के हाथों उध्दार किया
इस शिवलिंग की पूजा करने के लिए कोई ब्राह्मण नहीं थे। इसलिए उन्होंने समुद्र देव से अपने पिता के अंतिम संस्कार समारोह में आने की अपील की। भगवान राम की बात सुनकर समुद्र देवता स्वयं ब्रह्म का रूप धारण कर वहाँ आ पहुँचे। उनके साथ समुद्र देवता के साथ केकड़े भी आए और वे जाकर शिवलिंग पर बैठ गए। इस घटना के बाद समुद्र देव ने भगवान श्री राम के हाथों केकड़े का उध्दार करने अनुरोध किया और भगवान राम ने इस अनुरोध को स्वीकार कर लिया और कहा कि जो कोई भी यहां शिवलिंग पर जिंदा केकड़ा चढ़ाएगा, उसके कान का दर्द दूर हो जाएगा।
उत्तरायण के बाद भक्त मंदिर में केकड़ों का प्रसाद चढाते है
रामनाथ घेला महादेव मंदिर में जिन भक्तों ने मन्नत मांगी होती है और वह मन्नत पुरी हो जाने पर उत्तरायण के बाद भक्त केकड़ों का प्रसाद चढ़ाने आते है। उत्तरायण के बाद रामनाथ घेला मंदिर में भक्तों की भारी भीड होती है। रामनाथ घेला मंदिर परिसर में मेले जैसा माहोल होता है। भक्त नदी से जिंदा केकड़ो को महादेव पर प्रसाद चढाकर मन्नत पुरी करने के लिए आभार व्यक्त करते है।
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