छत्तीसगढ़

26 जनवरी को नई दिल्ली के राजपथ पर प्रदर्शित झांकियों में से चुन सकते हैं अपनी मनपसंद झांकी

Nilmani Pal
25 Jan 2022 10:39 AM GMT
26 जनवरी को नई दिल्ली के राजपथ पर प्रदर्शित झांकियों में से चुन सकते हैं अपनी मनपसंद झांकी
x

रायपुर। 26 जनवरी को नई दिल्ली के राजपथ पर मुख्य समारोह में देश के विभिन्न राज्यों की प्रदर्शित झांकियों में से लोग अपनी मन पसंद की झांकी का चयन कर सकते हैं। लोगों को पहली बार अपनी पसंद की झांकी को चुनने के लिए ऑनलाईन वोट की सुविधा मिली है। इसके लिए सर्वप्रथम लिंक पर अपना रजिस्ट्रेशन कराना होगा। इस लिंक पर देश के राज्यों के नाम का आप्शन चयन के लिए उपलब्ध है, जिसकी झांकी पसंद आई है। छत्तीसगढ़ की गोधन न्याय योजना की झांकी भी राजपथ पर अपनी छटा बिखरेगी।

गौरतलब है कि इस साल देश के सिर्फ 12 राज्यों की झांकियां ही प्रदर्शन के लिए चयनित हुई हैं, जिसमें छत्तीसगढ़ राज्य भी शामिल है। कृषि प्रधान छत्तीसगढ़ राज्य की इस साल की झांकी गोधन न्याय योजना से संबंधित है। छत्तीसगढ़ की झांकी को रक्षा मंत्रालय की उच्च स्तरीय विशेषज्ञ समिति द्वारा निर्धारित कठिन चयन प्रक्रिया के विभिन्न दौर से गुजरने के बाद यह सुअवसर मिला है। आयुक्त जनसम्पर्क छत्तीसगढ़ दीपांशु काबरा ने बताया, विशेषज्ञ समिति ने आजादी के 75 वर्ष पूर्ण होने पर इंडिया-75 न्यू आईडिया की थीम घोषित की है। गोधन न्याय योजना को न्यू आइडिया के तौर पर चयनित किया गया है। गोधन न्याय योजना पर बनी छत्तीसगढ़ की झांकी की विशेषता है कि वह गांवों में उपलब्ध संसाधन और तरीकों को आधुनिक तकनीक के साथ प्रस्तुत करती है। यह बताती है कि शहरी और ग्रामीण की तकनीक को मिला लिया जाए, तो विश्व की कई समस्याओं का समाधान हो सकता है।

ऐसी है इस बार छत्तीसगढ़ की झांकी

झांकी के अगले भाग में गाय के गोबर को इकट्ठा करके उसे बेचने के लिए गोठानों की ओर ले जाती महिलाओं को दर्शाया जाएगा। ये महिलाएं पारंपरिक आदिवासी वेशभूषा में होंगी। इन्हीं में से एक महिला को गोबर से उत्पाद तैयार कर बेचने के लिए बाजार ले जाते दिखाया जाएगा। महिलाओं के चारों ओर गोठानों में साग-सब्जियों और फूलों की खेती दिखाई जाएगी। नीचे की ओर गोबर से बने दीयों की सजावट की जाएगी। झांकी के पिछले हिस्से में गौठानों को रूरल इंडस्ट्रीयल पार्क के रूप में विकसित होते दिखाया गया है।

झांकी में यह भी दिखेगा

इस झांकी मध्य भाग में गाय को ग्रामीण अर्थव्यवस्था के केंद्र में रखकर पर्यावरण संरक्षण, जैविक खेती, पोषण, रोजगार और आय में बढ़ोतरी की छटा दिखेगी। सबसे आखिर में चित्रकारी करती हुई ग्रामीण महिला को छत्तीसगढ़ के पारंपरिक शिल्प और कलाओं के विकास की प्रतीक के रूप में दर्शाया जाएगा। इसमें प्रदेश में विकसित हो रही जल प्रबंधन प्रणालियों, बढ़ती उत्पादकता और खुशहाल किसान को भित्ति-चित्र शैली में दिखाया जाएगा। इसी क्रम में गोबर से बनी वस्तुओं और गोबर से वर्मी कंपोस्ट तैयार करती स्व-सहायता समूहों की महिलाएं भी झांकी में दिखेंगी। छत्तीसगढ़ की गोधन न्याय योजना की झांकी के लिए लोगों से वोटिंग की अपील की गई है।

Next Story