भाटापारा। निपनिया मे कार्यरत पटवारी सेवक राम जोगांस (57) अपने आफिस से वापस अपने घर हथबंद जाने के लिए निपनिया रेलवे स्टेशन आकर प्लेटफार्म एक पर गाड़ी का इंतजार कर रहे थे। एक मालगाड़ी प्लेटफार्म नंबर 2 पर सिग्नल नहीं मिलने पर खड़ी हो गई, पटवारी मेरी गाड़ी आ गई बोलते हुए खड़ी हुई कोयला रैक के नीचे से पार होने लगा, ठीक उसी समय कोयला रैक चल पड़ी और वह वहीं पर पटरी के बीच में सो गए। न्यूवोको सीमेंट कंपनी के निपनिया साइडिंग में कार्यरत एक कर्मचारी आफिस काम निपटा कर वापस जा रहे थे उन्होंने ये नजारा देखा तो तुरंत निपनिया स्टेशन मास्टर को यथा स्थिति बता कर गाड़ी रुकवाने के लिए बोले।
स्टेशन मास्टर ने तुरंत वाकी टाकी से बात कर रैक को रुकवाया जब रैक के नीचे से पटवारी बाहर निकले तो प्लेटफार्म में उपस्थित यात्रियों ने राहत की सांस ली। पटवारी के ऊपर से 18 बोगीयां गुज़री संयोग वश गाड़ी के नीचे कोई लोहा नही लटक रहा था, नहीं तो हादसा हो सकता था। इस घटना ने फिर से रेलवे स्टेशन में सुरक्षा पर सवाल खड़े कर दिया है, सबसे बड़ा सवाल ये है की जिस वक़्त पटवारी गाड़ी के नीचे से पार हो रहा था, उस वक़्त कहा थे रेलवे स्टेशन के अन्य कर्मचारी, जी आर पी एफ, और क्यो नही रोका गया पटवारी को नीचे से ट्रैक पार करने से।