छत्तीसगढ़

धमतरी जिले के तीन स्कूलों ने कराया न्यौता भोज

Nilmani Pal
3 March 2024 8:44 AM GMT
धमतरी जिले के तीन स्कूलों ने कराया न्यौता भोज
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धमतरी। प्रदेश के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की मंशा अनुरूप जिले में स्कूली बच्चों को पौष्टिक भोजन वितरित करने लगातार विभिन्न संगठनों, स्वयं सेवी संस्थाओं, अधिकारियों, कर्मचारियों द्वारा अपने जन्म दिन, विशेष दिवस के अवसर पर ’न्यौता भोज’ का आयोजन किया जा रहा है। इसी कड़ी में बीते दिन ंभारतीय जैन संघटना महिला शाखा की अध्यक्ष वंदना चौरडिया द्वारा स्कूलों में फल वितरण किया गया। उन्होंने बेटे चिराग जैन के एमबीबीएस की परीक्षा पूर्ण करने की खुशी में धमतरी शहर के तीन स्कूलों में फल का वितरण किया।

सुपोषण मोदक से कुपोषित बच्चों के वजन में होगी बढ़ोत्तरी

प्रदेश सरकार की मंशा के अनुरूप और कलेक्टर सुश्री नम्रता गांधी के मार्गदर्शन में जिले में बच्चों में कुपोषण मिटाने का हरसंभव प्रयास किया जा रहा है। इसी तारतम्य में आयुर्वेद विभाग की देख-रेख में सुपोषण मोदक तैयार कर जिले की आंगनबाड़ियों के कुपोषित बच्चों को दी जा रही है। इसके सेवन से बच्चों के स्वास्थ्य में सुधार आएगा, वहीं उनके वजन में भी आशातीत वृद्धि होगी।

जिला आयुर्वेद अधिकारी डॉ.गुरूदयालय साहू बताया कि जिले के कुपोषित बच्चों को सुपोषित करने के उद्देश्य से प्रारंभिक तौर पर बीते दिनों आंगनबाड़ी केन्द्र उमरगांव, छिंदीटोला, छाती, खरतुली, पोटियाडीह, लोहरसी, मुजगहन, गट्टासिल्ली, कुर्रा, डाही, अंगारा, हंकारा, सेमरा, कौहाबाहरा, दुगली, मंदरौद, भखारा, कातलबोड़, आमदी, घुटकेल, सिंगपुर, दर्रा में वितरित किया गया है।

आयुष विभाग द्वारा इस सुपोषण मोदक कों अश्वगंधा चूर्ण, मुलैठी, बालचर्तुभद्र और गुड़ से तैयार किया गया है। कुपोषित बच्चे को इस मोदक का दिन में दो बार सेवन कराना है, जिससे कुपोषण के स्तर में सुधार होगा एवं बच्चों के रोग प्रतिरोधक क्षमता में विकास होगा तथा वजन बढ़ेगा। साथ ही बच्चों के मानसिक एवं शारीरिक स्वास्थ्य में सुधार होगा और बच्चे बार-बार बीमार होने से भी बचेंगे। इस मोदक के सेवन से बच्चों का पाचन तंत्र मजबूत होता है, जिससे उन्हें ज्यादा भूख लगती है और जो भी खाते हैं, उसे पचाने में मदद मिलती है। इसके अलावा मस्तिष्क का विकास भी होता है। मोदक में आयरन और प्रोटिन की मात्रा होने की वजह से बच्चे स्वस्थ रहते हैं। उन्होंने बताया कि उचित देखभाल, सही खानपान और चिकित्सीय सलाह की वजह से जिले के बच्चों को सुपोषित करने में सहूलियत होगी।

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