छत्तीसगढ़

शहीद कर्नल विप्लव त्रिपाठी और उनके परिवार का पार्थिव शरीर पहुंचा रायगढ़

Nilmani Pal
15 Nov 2021 7:42 AM GMT
शहीद कर्नल विप्लव त्रिपाठी और उनके परिवार का पार्थिव शरीर पहुंचा रायगढ़
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रायगढ़। शहीद कर्नल विप्लव त्रिपाठी और उनके परिवार का पार्थिव शरीर जिंदल एयरपोर्ट पहुंचा है. अंतिम दर्शन के लिए हजारों की संख्या में लोग मौजूद है. मणिपुर में हुए आतंकवादी हमले में शहर के लाल करर्नल विप्लव त्रिपाठी के घर शोक का माहौल बना हुआ है, विप्लव के बारे में उनके चाचा राजेश पटनायक ने कहा कि "विप्लव अपने दादा, एक महान स्वतंत्रता सेनानी से प्रेरणा लेकर, राष्ट्र की सेवा करने के लक्ष्य के साथ भारतीय सेना में शामिल हुए. उनके पिता, एक वरिष्ठ पत्रकार, और उनकी माँ, एक सामाजिक कार्यकर्ता, ने भी उन्हें प्रोत्साहित किया. उन्होंने देश की सेवा करते हुए अपने प्राणों की आहुति दी है. हमें उस पर गर्व है, "

परिजन ने बताया कि कर्नल साहब काफी जिंदादिल इंसान थे और कुछ दिनों बाद रायगढ़ में ही आकर बसना चाह रहे थे. करर्नल विप्लव त्रिपाठी मणिपुर की चुनौतियों के बारे में भी परिवार को बताया करते थे कि किस तरह से वहां आतंकवादियों से चुनौतियां रहा करती थी. हमले में त्रिपाठी की पत्नी और बेटे की भी मौत हो गई और घायल कर्मियों को बेहियांगा स्वास्थ्य देखभाल केंद्र में भर्ती कराया गया.

असम राइफल्स ने जारी किया बयान

अधिकारियों ने कहा कि शनिवार सुबह मणिपुर के चुराचांदपुर जिले में आतंकवादियों द्वारा घात लगाकर किए गए हमले में असम राइफल्स की खुगा बटालियन के कमांडिंग ऑफिसर कर्नल त्रिपाठी, उनकी पत्नी और छह साल के बेटे और अर्धसैनिक बल के चार जवान शहीद हो गए. हमला सिंघत उपमंडल के एस सेहकेन गांव के पास हुआ, जब कर्नल त्रिपाठी अपने परिवार और भारतीय सेना के अर्धसैनिक बल के अन्य कर्मियों के साथ सुबह करीब 10 बजे सीमा चौकी बेहियांग से लौट रहे थे. असम राइफल्स ने एक बयान में कहा कि उन्हें संदेह है कि इस नरसंहार के लिए जिम्मेदार विद्रोही समूह PREPAK (पीपुल्स रिवोल्यूशनरी पार्टी ऑफ कंगलीपाक) कैडर से होना चाहिए क्योंकि PREPAK स्मरण दिवस 12/13 नवंबर 2021 को मनाया जाता है.

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