छत्तीसगढ़। लाचार कानून व्यवस्था के कारण अब हर कोई अपने आप को किसी मंत्री या नेता का करीबी बताने लगा है. इतना ही नहीं दादागिरी कर सरकारी सेवकों को खुलेआम धमकी दे रहा है. ऐसा ही एक ताजा मामला राजधानी रायपुर से सामने आया है. जहां टाटीबंध चौक में CG04-HV-9222 मर्सडीज कार को एक शख्त तेज रफ्तार से चलाने के साथ ही पुलिस का सायरन भी बजा रही था। वहां गुजर रहे आम नागरिकों ने इसका विरोध करते हुए गाड़ी को रुकवा लिया। गाड़ी चालक से पूछने पर उसने बताया कि वह मंत्री के दोस्त की गाड़ी चला रहा है। इस दौरान मौके पर मौजूद एक ट्रैफिक जवान वहां आ पहुंचा, ट्रैफिक जवान के पूछने पर ड्राइवर ने उसने मंत्री के दोस्त की गाड़ी होना बताया। लोगों के दबाव डालने पर पुलिसकर्मी कार सवार को थाने लेकर आया गया। दुबारा पुलिस द्वारा पूछताछ करने पर कार चालक खुद को ड्राइवर बताने लगा और बोला कि कार भाजपा के एक बड़े नेता के दोस्त आदित्य प्रताप सिंह की है।
बस फिर क्या था इतना सुनने के बाद किसी भी पुलिसकर्मी की हिम्मत उसका चालान काटने की नहीं हुई। इस घटना की सूचना गाड़ी मालिक आदित्य प्रताप को दी गई। इसके बाद तो हद ही हो गई, गाड़ी मलिक आदित्य ने उसकी गाड़ी का चालान काटने वाले पुलिसकर्मी को चार दिनों के अंदर सस्पेंड करवाने की धमकी दे दी। घंटों चली बहस के बाद और लोगों के दबाव के बाद आखिरकार यातायात पुलिस ने दो हजार रुपये की चलानी कार्यवाही की है।