छत्तीसगढ़

मक्के की खेती से गरीब किसान हुआ आर्थिक रूप से सशक्त

Nilmani Pal
6 Oct 2022 10:59 AM GMT
मक्के की खेती से गरीब किसान हुआ आर्थिक रूप से सशक्त
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रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के नेतृत्व में राज्य सरकार की जनहितकारी नीति और फैसलों से प्रदेश के गरीब, किसान सहित सभी वर्गो के लोग खुशहाल हो रहे हैं। गौरतलब है कि गरियाबंद जिले अंतर्गत वनांचल में बसे ग्राम जैतपुरी के सालिक राम ध्रुव ने कृषि अधिकारियों की सलाह पर वन अधिकार पट्टा के तहत मिले ढाई एकड़ जमीन में मक्के की खेती की। उनके खेत में मक्के की भरपूर पैदावार हुई। उन्हें 18 क्विंटल उत्पादन मिला। पहले वे धान की खेती करते थे जिसमें उन्हें बहुत कम उत्पादन मिलता था। सालिक राम के परिवार में अब खुशी का माहौल हैं।

किसान सालिक राम ने बताया कि वे वन अधिकार पट्टा के तहत मिले जमीन पर इस बार उन्होंने ढाई एकड़ में कृषि विभाग द्वारा मिले निःशुल्क मक्के का बीज (केएमएच-3426) लगाया था। इस खेती से उसने लगभग 18 क्विंटल मक्के का उत्पादन हुआ है। जिसमें से उन्होंने 8 क्विंटल से ज्यादा खुले बाज़ार में बेचकर अच्छा मुनाफ़ा कमाया।

किसान सालिक राम ने बताया कि धान के बदले इस नई फसल से मिले आमदनी से उनका परिवार आर्थिक रूप से सशक्त हो रहा है। वे अब धान के बदले मक्के की खेती कर रहे हैं। इससे अच्छी आय की प्राप्ति हो रही है। उन्होंने बताया कि लगभग 10 क्विंटल मक्के को अब वे समर्थन मूल्य पर विक्रय किया। उन्हें धान के बदले मक्का की खेती के लिए प्रोत्साहन स्वरूप प्रदान राशि भी मिलेगी।

छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा खेती-किसानी को दिया जा रहा है। प्रोत्साहन के कारण सालिक राम इस कार्य में अपने बेटे आत्माराम को भी खेती किसानी से जोड़ रहे हैं और उसे खेती की बारिकीयों को समझा रहे हैं। आत्माराम ने कहा कि वे आसपास के किसानों को भी अन्य फसल लेने के लिए प्रोत्साहित करेंगे ताकि उन्हें भी अच्छे आमदनी हो सके। सालिक राम ने मक्के की खेती के साथ ही मछली पालन और मशरूम उत्पादन भी कर रहें हैं। जिससे उनको अतिरिक्त आय की प्राप्ति हो रही है।

Nilmani Pal

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