लोकार्पण नहीं होने से नशे और अवैध गतिविधियों के लिए हो रहा इस्तेमाल
जसेरि रिपोर्टर
रायपुर। राजधानी में बने नवनिर्मित अंतर्राज्यीय बस टर्मिनल बसों का अड्डा कम और बाइकर्स का अड्डा ज्यादा बन गया है। शहर में आतंक मचाते आ रहे बाइकर्स अब अंतर्राज्यीय बस टर्मिनल के पार्किंग एरिया अब शहर के बालिग और नाबालिग दोनों युवा आकर स्टंट करते नजऱ आते है। जनता से रिश्ता के संवाददाता ने खुद जाकर वहां का जायजा लिया तो पाया कि एक दर्जन से अधिक युवा बाइक में स्टंट कर रहे थे। जिनकी तस्वीरें संवाददाता ने अपने कैमरे में कैद किया है। राजधानी में महंगे दोपहिया वाहनों पर सवार युवा शाम ढलते ही यातायात नियमों की अनदेखी कर सड़कों पर फर्राटा भरते रहते हैं। पुलिस ने ऐसे बाइकर्स की धरपकड़ शुरू की तो युवाओं ने अब शहर के अंदर ही बस टर्मिनल को ही अपना अड्डा बना लिया है। दोपहर से लेकर शाम तक युवा इस बस टर्मिनल में अलग-अलग बाइक पर स्टंट मारते दिखते है। इसी बस टर्मिनल के आगे पीछे दोनों तरफ युवा नशा भी करते दिखते है।
ये हैं रायपुर के बाइकर्स गैंग
राजधानी में ड्यूक बाइक गैंग, स्पीड किंग, स्पीड किलर, रिस्की राइडर्स, ब्लैक टाइगर, व्हाइट टाइगर, वीएसएफ ग्रुप, सम्राट गैंग, चौरसिया कालोनी के युवा इस बस टर्मिनल में आकर ज्यादातर आतंक मचाते है। और बाइकर्स गैंग तेज रफ्तार में गली-मोहल्लों से फर्राटे भरते हुए मुख्य सड़कों पर आते-जाते हैं।
जनता से रिश्ता ने तस्वीरों को किया कैद
शहर के बाहर भले ही पुलिस बाइकर्स गैंग पर नकेल कसने के दावे कर रही है, लेकिन वे शहर के अंदर जरूर खतरनाक स्टंटबाजी कर रहे है। बाइकर्स की रेस में केवल लडक़े ही नहीं बल्कि लड़कियां भी जोखिम उठा रहीं है। खुद के साथ ही दूसरों की जान भी खतरे में डाल रहे हैं। शुक्रवार के दिन जनता से रिश्ता के संवाददाता ने नए बस टर्मिनल में जाकर चौंकाने वाली तस्वीरें कैमरे में कैद की है। वहां बाइकर्स ग्रुप बेखौफ स्टंटबाजी करते नजर आए। वहीं, कपल्स के रूप में लड़कियां भी बाइकर्स की रेस में शामिल हुईं। पुरानी बस्ती से भाठागांव को जोडऩे वाला रास्ता रावाभाठा रास्ते में स्थित नए बस टर्मिनल में हाइस्पीड ड्राइविंग से पहले भी युवा सड़क दुर्घटना से बचे है।
बाइकर्स का यहां आतंक
शहर के नए बस टर्मिनल, शैलेंद्रनगर, कटोरातालाब, न्यू शांतिनगर, शंकरनगर, अवंति विहार, राजा तालाब, मौदहापारा, खम्हारडीह, कचना, जल विहार कालोनी, जीई रोड गौरव पथ, श्यामनगर, तेलीबांधा आदि क्षेत्रों में शाम ढलते ही बाइकर्स गैंग का आतंक लंबे समय से बना हुआ है। इन इलाकों से जब बाइकर्स ग्रुप में तेजी से निकलते हैं तो आसपास से गुजरने वाले लोगों की धड़कनें बढ़ जाती हैं। टकराने या गिरने के डर से आम बाइक सवार सड़क किनारे हो जाते हैं। कई बार हादसे के शिकार भी हो चुके हैं।
ड्रग्स का कारोबार भी करते बाइकर्स गैंग
राजधानी के अधिकतर बाइकर्स गैंग के सदस्य ड्रग्स के नशे में भी लिप्त होते है। और कुछ बाइकर्स गैंग के सदस्य नशा करने के लिए ड्रग्स भी लेते है। बाइकर्स सदस्य बड़ी पार्टियों में लोगों को ड्रग्स भी बेचते है। नशा रायपुर शहर में अधिकतर तौर पर युवा ही करने लगे है। बाइकर्स गैंग के युवा ड्रग्स का व्यापार भी करते है बड़े घराने के युवाओं को अपनी जाल में फसांते है। बड़ी-बड़ी और महंगी गाडिय़ों में रेस लगाते है रेस में जो हार जाता है उसको पूरे बाइकर्स गैंग के सदस्यों को नशे की पार्टी देना पड़ता है। बाइकर्स गैंग के युवा ड्रग्स भी बेचने का काम करते है। आम तौर पर बाइकर्स गैंग बड़े घर के युवाओं को अपनी गैंग में शामिल करने की फिराक में रहते है, जिससे उनका ड्रग्स का कारोबार निर्बाद रूप से चलता रहे। जब-जब पुलिस ड्रग्स पर कार्रवाई करती है तो ये देखा जाता है कि 10 युवा बड़े घराने के होते है और उसमें से 5 युवा माध्यम वर्ग के होते है। युवाओं द्वारा ड्रग्स का कारोबार चलाया जाता है जिसकी वजह से परिवार और पुलिस दोनों की आँख में धुल झोंक कर युवा कारोबार करते रहते है।
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