छत्तीसगढ़

लॉकडाउन में बना आय का साधन: नरवा, गरूवा, घुरवा और बाड़ी योजना से मिला लाभ अजमन ने लगाया धान के साथ सब्जी

Admin2
9 Dec 2020 10:20 AM GMT
लॉकडाउन में बना आय का साधन: नरवा, गरूवा, घुरवा और बाड़ी योजना से मिला लाभ अजमन ने लगाया धान के साथ सब्जी
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कोविड-19 के कारण जहॉ एक ओर लॉकडाउन में अर्थव्यस्था चरमरा गयी। वहीं दंतेवाड़ा जिले के भैरमबंद गॉव के निवासी श्री अजमन यादव ने सब्जियां बेचकर लगभग एक लाख रूपए आय अर्जित किया है। जिससे इस संकट काल में भी उसका परिवार खुशहाल है, वह एक सामान्य किसान है। वह पारम्पारिक रीति से सिर्फ धान का फसल लगाता था, पिछले दो वर्षो से अपने घर के पास सीमित भूमि में साग-सब्जी लगाना प्रारम्भ किया, जिससे 30-40 हजार का आय प्राप्त हुआ, जिससे अजमन को उद्यानिकी फसल की ओर रूझान बढ़ी और उद्यानिकी के कर्मचारियों से सर्म्पक कर उन्नत तरीके से उद्यानिकी फसल उत्पादन करने का इच्छा जाहिर की। विभाग के कर्मचारियों की सलाह से सूक्ष्म सिंचाई योजना वन ड्राप मोर क्राप एवं मल्चिंग की उन्नत तकनीकि से कम लागत पर अधिक आमदनी कर पिछले दो वर्षो से टमाटर ,भिण्डी, बरबटी, करेला आदि फसल उत्पादन कर रहा है, जिससे लगभग 60-80 हजार रूपये की आमदनी हुई है।

सरकार की बहुआयामी योजना नरवा,गरूवा, घुरवा और बाड़ी योजना से लाभांवित होकर उद्यानिकी विभाग द्वारा नवीन बाड़ी में चैन लिंग फेंसिंग कराया गया और इस बाड़ी कार्यक्रम के तहत किसान को दोहरा लाभ मिल रहा है। कहावत है कि '' आम के आम,गुठलियों के दाम'' चरितार्थ हो गई है। क्योंकि बाड़ी योजना के तहत् किसान को सब्जी उत्पादन करने का नरेगा तहत् मजदूरी भी मिल रहा है और साथ ही रोजगार भी मिला है। किसान कहता है, अब मुझे अन्यत्र काम के लिये जाना नहीं पड़ता है। मुझे अपनी खेती करने में ही रोजगार मिल गया है। इस वर्ष किसान द्वारा 2 एकड़ भूमि में बरबट्टी करेला एवं खीरा का फसल ड्रिप एवं सिंचाई पद्धति से खेती किया जा रहा है। जिससे लगभग डेढ़ लाख रूपये शुद्ध आमदनी होने की सम्भावना है। उद्यानिकी फसल अपना कर अजमन बहुत खुश है, और अपने परिवार के 06 सदस्यों का भरण पोषण कर रहा है।


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