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महासमुंद: तहसील महासमुंद में साप्ताहिक बाज़ार हाटों में गुरुवार से हाट बाजार राजस्व कैम्प कोर्ट की शुरुआत की गई है। जिसके सकारात्मक और उत्साहजनक परिणाम देखने को मिल रहा है। ग्रामीण बोल रहे हाट भी कर लूँगा और काम भी यानि 'एक पंथ दो काज' लोग हाट बाज़ार करने के साथ उनके प्रकरणों का निराकरण भी हो रहा और उनकी समय की बचत भी हो रही।
महासमुंद के ग्राम झारा के किसान ठाकुर राम निषाद इसी शुक्रवार को घर के लिए साग सब्जी की खरीददारी के लिए गांव के ही हाट बाजार गए थे वहा उन्होंने बाजार स्थल में ही टेंट लगा देखा जिसमे हाट बाजार राजस्व कैंप कोर्ट लिखा पाया। ठाकुर राम को याद आया कि उनकी बड़ी मां राम बाई और वेदबाई का निधन होने के बाद फौती नहीं उठा है। उन्होंने सीधे टेंट में बैठे नायब तहसीलदार के पास पहुंचकर अपनी समस्या बताया। नायब तहसीलदार सूरज बंछोर ने तुरंत प्रकरण दर्ज किया। पटवारी ने उपस्थित गांव वालो और कोटवार से पता करके मृतक के वारीसानो की जानकारी लेकर वारीसान प्रमाण पत्र बनाया और कुछ देर में ही तहसीलदार ने नियत प्रक्रिया का पालन करते हुए फौती उठाए जाने का आदेश पारित कर दिया गया। आदेश से ठाकुर राम की खुशी का ठिकाना नहीं रहा और राजस्व विभाग की भूरी भूरी प्रशंशा करने लगे।
वही ग्राम झारा के गणेशराम सब्जी खरीदने बाजार पहुंचे और उन्हें अपनी कटी फ़टी खराब हालत किसान किताब याद आया। तहसीलदार ने उनसे अत्यंत ख़राब किसान किताब लेकर राजस्व रिकार्ड से जांच करके पटवारी को द्वितीय किसान किताब बनाने निर्देश किया और पटवारी शशांक चंद्राकर ने गांव वालो की उपस्थिति में तत्काल किसान किताब की द्वितीय प्रति गणेशराम को दे दी जिससे गणेशराम फूले नहीं समाए और कहने लगे कि ये तो वही एक पंथ दो काज।
कलेक्टर श्री निलेशकुमार क्षीरसागर के निर्देश पर एसडीएम महासमुंद श्री भागवत जायसवाल के मार्गदर्शन में तहसील महासमुंद स्थित ग्राम झारा में शुक्रवार को हाट बाजार राजस्व कैंप कोर्ट लगाया गया। कैंप कोर्ट ग्राम के भीड़भाड़ वाले हाट बाजार में ही आयोजित किया गया जिसमे आस पास के ग्रामीण अपनी समस्याओं के निराकरण के लिए उपस्थित हुए। कैम्प में ग्रामीणों की राजस्व संबंधी समस्याओं का ग्रामीणों के बीच में ही सीधे और सुलभ तरीके से 100 से अधिक प्रकरणों का निराकरण किया गया। इस हाट बाजार राजस्व कैंप कोर्ट में 14 नामांतरण के प्रकरणों, 4 द्वितीय किसान किताब, 30 अस्थाई जाति प्रमाण पत्र, 52 आय प्रमाण पत्र, 02 सोल्वेंसी प्रकरण और 02 नाबालिक से बालिग अभिलेख सुधार के प्रकरणों का स्थल पर ही निराकृत किया गया। जिससे आम ग्रामीणों में उत्साह और ख़ुशी है। इसी तरह तहसील महासमुंद में प्रत्येक सप्ताह 4 हाट बाजार राजस्व कैंप कोर्ट लगाया जा रहा है ताकि किसानों और आम जनता को सीधे उनके गांव में राजस्व संबंधी प्रकरणों और शासकीय योजनाओं का त्वरित लाभ मिल सके।
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