छत्तीसगढ़

अच्छी आदतों से जीवन में मिलती है जल्दी सफलता

Nilmani Pal
25 Sep 2022 3:22 AM GMT
अच्छी आदतों से जीवन में मिलती है जल्दी सफलता
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रायपुर। राष्ट्रीय संत ललितप्रभ जी महाराज साहब ने कहा कि सफलता का आधार है अच्छी आदतें। जीवन में सबसे ज्यादा प्रभाव आदतों का पड़ा करता है। जैसा अन्न वैसा मन, जैसा आहार वैसा व्यवहार, जैसा संग वैसा रंग, वैसे ही जैसी आदत वैसी किस्मत।हम नसीब को तो बदल नहीं सकते पर नेचर बदल लें तो नसीब अपने आप को बदलना शुरू हो जाएगा। संत प्रवर शनिवार को सकल जैन समाज पश्चिम द्वारा समता चौबे कॉलोनी स्थित मेक कॉलेज आडिटोरियम में आयोजित तीन दिवसीय प्रवचन माला के दूसरे दिन श्रद्धालु भाई बहनों को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि जानवर जीवन भर जानवर रहता है और देवता जीवन भर देवता, पर इंसान बुरी आदतों के चलते डॉग बन जाता है और अच्छी आदतों के चलते गॉड जैसा कहलाता है।

संत प्रवर ने कहा कि हम जीवन से पांच आदतों को हटाएं।

1. कमियां निकालने की आदत, 2.मजाक उड़ाने की आदत, 3.दुखी करने की आदत,

4. टेढ़ा बोलने की आदत,

5. गलत नजर डालने की आदत। उन्होंने कहा कि अगर हम औरों में कमियां निकालेंगे तो कमजोर हो जाएंगे और खूबियां देखेंगे तो खूबसूरत बन जाएंगे। जैसे मां को बेटी में कोई कमी नजर नहीं आती वैसे ही सास बहू में कमियां निकालना बंद कर तो सास बहू का रिश्ता घर के लिए वरदान बन जाएगा। उन्होंने कहा कि दूसरों का भूल चूक कर भी उपहास न उड़ाएं। अगर हम दूसरों का पानी उतारेंगे तो लोग हम पर दूध चढ़ाने वाले नहीं हैं।

दूसरों को दुखी न करने की प्रेरणा देते हुए संत श्री ने कहा कि दुखी व्यक्ति तो सुखी हो सकता है पर दुख देने वाला कभी सुखी नहीं होता। मीठा बोलने की नसीहत देते हुए उन्होंने ने कहा कि दुनिया में किसी को भी टेढ़ा सुनना अच्छा नहीं लगता। जब हम मीठा बोल कर रिश्तों में मिठास घोल सकते हैं तो कड़वा बोलकर जीवन को खराब क्यों करें।

नजरों को अच्छी रखने की प्रेरणा देते हुए संत प्रवर ने कहा कि जो सड़क चलती सुंदर नारी में भी सीता माता के दर्शन कर लेता है वह संसार में रहते हुए भी संत जैसा बन जाता है। अगर हम बेईमानी का मौका मिलने पर भी ईमानदारी दिखाते हैं तो समझ लीजिएगा हमारा जीवन जीना सार्थक हो गया। इससे पूर्व शांतिप्रिय सागर ने सभा को संबोधित किया। प्रवचनमाला के आरंभ में आगम महिला ग्रुप चौबे-समता कॉलोनी द्वारा स्वागत गीत की प्रस्तुति दी गई।

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