छत्तीसगढ़

ईंट भट्ठा में 1 साल का मासूम खेलते हुए चार फीट की पानी टंकी में गिरा, मौत

HARRY
7 Dec 2020 3:37 AM GMT
ईंट भट्ठा में 1 साल का मासूम खेलते हुए चार फीट की पानी टंकी में गिरा, मौत
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पुलगांव थाना क्षेत्र के ग्राम भेड़सर के करीब ईंट भट्ठा में 1 साल के मासूम खेमराज की पानी में डूबने से मौत हो गई।

जनता से रिश्ता वेबडेस्क | छत्तीसगढ़/ भिलाई डेस्क: पुलगांव थाना क्षेत्र के ग्राम भेड़सर के करीब ईंट भट्ठा में 1 साल के मासूम खेमराज की पानी में डूबने से मौत हो गई। जिस जगह पर यह घटना हुई, वहां जमीन पर ही एक 4 फिट की टंकी बनाकर रखी गई थी, इसी टंकी के करीब मासूम खेलते हुए पहुंच आया और पानी में गिर पड़ा। जब तक लोगों की नजर उस पर पड़, तब तक मौत हो चुकी थी। बच्चे का शव पानी में ऊफन चुका था। बच्चे को बेसुध हालत में पड़ा देखकर माता पिता बिलख पड़े और बेहोश हो गए। रिश्तेदार मृतक खेमराज को इलाज के लिए जिला अस्पताल ले गए। जहां डॉक्टरों ने बच्चे को मृत घोषित कर दिया। रविवार की सुबह पीएम कराने के बाद शव सौंप दिया गया। मासूम के पिता मिट्ठूलाल ने बताया कि बेटा अपनी बड़ी बहन प्रतिभा के साथ खेल रहा था।

हादसे के बाद संचालक ने की परिजनों की आर्थिक मदद
इधर ईंट भट्ठा में घटना के बाद संचालक द्वारा तत्काल टंकी में जाली लगा दी गई। टंकी में जमा पानी का उपयोग मिट्टी को गिला करने व हाथ-पैर धोने के लिए किया जाता है। सुरक्षा को लेकर कहीं कोई इंतजाम नहीं किए गए थे। टंकी की गहराई करीब चार फिट होगी। ईंट भट्टा संचालक दिलीप भुवाल ने घटना के बाद परिजनों की आर्थिक मदद भी की।
सभी ईंट भट्टे में खुले में संचालित सुरक्षा को लेकर नहीं गंभीर
जिले के लगभग सभी ईंट भट्ठा में इस प्रकार की पानी की टंकियां बनाई गई है। कहीं भी सुरक्षा के उपाय नहीं है। न ही कभी इसे गंभीरता से लिया गया। जबकि प्राय: श्रमिक भट्ठा में रहकर ही काम करते हैं और रहते हैं। उनके छोटे बच्चे भी साथ में रहते हैं। फिलहाल पुलिस ने मर्ग कायम कर मामले में जांच शुरू कर दी है।
आधे घंटे तक लापता रहा, टंकी में मिला शव
दुर्ग थाना के टीआई राजेश बागड़े ने बताया कि मृतक खेमराज पिता मिट्ठूलाल पैकरा मुख्य रूप से बलौदाबाजार के निवासी हैं। शनिवार की रात करीब 9 बजे मर्ग की सूचना मिली। इसके बाद पुलगांव थाने को खबर दी गई। मिट्ठूलाल ने बताया कि वह दो महीने पहले काम की तलाश में दिलीप भुवाल के ईंट भट्टे में आया था। यहीं पर वह अपनी पत्नी हेमलता और दोनों बच्चों के साथ रहता था। 5 दिसंबर की शाम करीब 5 बजे वह अपनी पत्नी और अन्य लोगों के साथ ईंट बना रहा था। बेटा खेमराज अपनी तीन साल की बड़ी बहन के साथ खेल रहा था। 4.30 बजे बच्चे को खेलता देखा। आधे घंटे बाद जब बच्चा नहीं दिखा तो उसे तलाशने लगे। जब बेटा कहीं नहीं दिखा तो पानी की टंकी में देखा तो बच्चा नजर आया। वह बेहोश था।
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