रायपुर। छत्तीसगढ़ राज्य के रायपुर जिले के बीरगांव रावांभाठा नामक स्थान में स्थित यह मंदिर "बंजारी माता मंदिर" के नाम से पूरे छत्तीसगढ़ में प्रसिद्ध है। यहां स्थापित मूर्ति बंजारा जाति के लोगों की कुलदेवी मानी जाती हैं, इसी कारण यहां स्थापित देवी को बंजारी देवी के नाम से जाना जाता है।
नवरात्रि का आज छटवां दिन
आज मां कात्यायनी की पूजा अर्चना की जा रही हैं। रायपुर के अलग अलग मंदिरों के साथ ही कुशालपुर चौक स्थित मां दंतेश्वरी मंदिर में भी भक्तों की भीड़ नजर आई। महामाया मंदिर की तरह ही राजधानी के कुशालपुर में मां दंतेश्वरी का मंदिर भी काफी प्राचीन है। माता के इस मंदिर से श्रद्धालुओं की गहरी आस्था जुड़ी हुई है। ऐसा माना जाता है कि मंदिर के गर्भगृह के ठीक पीछे नाग-नागिन की मांद हुआ करती थी। नवरात्रि पर्व के दौरान नाग-नागिन का जोड़ा एक बार जरूर माता के भक्तों को दर्शन देने के लिए निकलता था और परिक्रमा कर मूर्ति के बाजू से होकर मांद में प्रवेश कर जाता था। अब उसी स्थान पर भोलेबाबा विराजमान है।