छत्तीसगढ़

पुलिस और नेताओं की मिलीभगत से बाजार में खपता है नकली उत्पाद

Nilmani Pal
18 Dec 2021 4:55 AM GMT
पुलिस और नेताओं की मिलीभगत से बाजार में खपता है नकली उत्पाद
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  1. राजधानी में पकड़ाया नकली ऑयल का जखीरा
  2. जनता से रिश्ता लगातार नकली उत्पाद की खबर कर रहा प्रकाशित
  3. खबर से संज्ञान लेकर संबंधित विभाग कार्रवाई करते तो पहले ही पकड़ा चुके होते
  4. नकली उत्पाद के कारोबारी कम लागत में ज्यादा मुनाफा कमाने के चलते जनस्वास्थ्य से कर रहे खिलवाड़
  5. नकली उत्पाद का गढ़ बना रायपुर - जनता से रिश्ता ने शुरू से ही नकली सामानों के आलावा शराब, गांजा, भांग, चरस और नशीली वस्तुओं के खिलाफ मुहिम चलाया हुआ है। ब्रांडेड कंपनियों के नाम से नकली वस्तुओं के उत्पादन और बिक्री करने वालों के खिलाफ पुलिस अब छत्तीसगढ़ तमाम डुप्लीकेट कंपनियों की कुंडली खंगालने का काम शुरू कर दिया है। देश की नामचीन और बड़ी कंपनियों के नाम पर नकली उत्पाद का राजधानी रायपुर गढ़ बन चुका है। सारे नकली सामान आसपास के इलाके से ही यहाँ लाया जाता है, यहां पर सक्रिय सिंडिकेट बड़ी कंपनियों के उत्पादों के हू-ब-हू नकली उत्पाद तैयार कर प्रदेश भर के बड़े बाजारों से लेकर गांव-कस्बों में इसे सस्ते दाम पर खपाया जा रहा है। दुकानदार जहां मोटे कमीशन के लालच में ये सामान बेच रहे हैं, वहीं नकली से अनजान ग्राहक भी कम कीमत पर सामान पाकर खुश हैं। दरअसल रायपुर में छह माह पहले हिंदुस्तान यूनिलीवर कंपनी के क्रीम व चायपत्ती का जखीरा मिलने के बाद यह साबित हो गया है कि छत्तीसगढ़ में नकली खाद्य सामग्री, कास्मेटिक से लेकर सारा सामान आसानी से खपाया जा रहा है।

जसेरि रिपोर्टर

रायपुर। माना में पुलिस और इंडियन आइल कोर्पोरेशन के अधिकारियों ने कार्रवाई कर नकली आइल जब्त कर एक आरोपी को गिरफ्तार किया है। इसके पहले आरोपी का भाई भी नकली आइल बनाते और बेचते हुए पकड़ा चुका है। नकली उत्पाद करने वाले नेताओं और पुलिस से सांठगांठ कर नकली माल बाजार में खुलेआम खपाने है। राजधानी के मार्केट में नकली उत्पाद खपाने वालों का गिरोह सक्रिय है, जो बड़े कंपनियों से मिलते-जुलते नाम से नकली उत्पाद बनाकर धड़ल्ले से बाजार में खपा रहे है। कम लागत में अधिक कमाई के लालच में नकली उत्पाद गृह और कुटीर उद्योग का रूप ले लिया है। जनता से रिश्ता लगातार नकली उत्पाद के बारे में खबरें प्रकाशित कर प्रशासन के संज्ञान में लाते रहा है। जिसके फलस्वरूप खाद्य एवं औषधि विभाग नकली उत्पाद के खिलाफ अभियान चला कर कार्रवाई कर रहा है। इसके पहले राजधानी के आसपास नकली उत्पाद बनाने का कारखाना चलने की खबर जनता से रिश्ता ने प्रकाशित की थी, जिसमें भाटापारा-तिल्दा, बिल्हा, चकरभाठा, उरला, अछोली, धरसीवां, सिमगा, बलौदाबाजार, हिरमी, माढऱ, मंदिर हसौद में नकली खाद्य और आइल बनाने का कारखाना का भंड़ाफोड़ किया था।

सदाणी मार्केट माना स्थित शिव शक्ति लुब्रिकेशन में छापा

माना में नकली आइल का पुलिस और इंडियन आयल कारपोरेशन लिमिटेड के अधिकारी ने भंडाफोड़ कर नकली आइल जब्त किया है। इंडियन आयल कारपोरेशन लिमिटेड के अधिकारी तथा हिंदुस्तान पेट्रोलियम कंपनी के द्वारा थाना माना क्षेत्र के सदाणी मार्केट स्थित शिव शक्ति लुब्रिकेशन दुकान में संचालक द्वारा इंडियन ऑयल व एचपी कंपनी का नकली ऑयल बिक्री करने की सूचना पर उक्त दुकान में रेड कार्यवाही कर आरोपी रोहित पिंजनी पिता हरीश पिंजनी उम्र 34 साल साकिन पंजाब नेशनल बैंक के सामने कटोरा तालाब सिविल लाइन रायपुर को गिरफ्तार किया गया। कब्जे से नकली ऑयल करीब 1502 लीटर जिसमें 67 कार्टून में प्रत्येक कार्टून में 20 डब्बा आइल प्रत्येक डब्बा 900 एम एल की भर्ती कथा 10 डब्बा जिसमें प्रत्येक डब्बा में 26 लीटर ऑयल भर्ती एवं 3 कार्टून पाउच प्रत्येक कार्टून में 300 और प्रत्येक पाउचमें 40 द्वद्य की भर्ती है जुमला कीमती करीब 452360 /- रुपए जप्त किया गया है तथा आरोपी के विरुद्ध थाना माना कैम्प में कॉपीराइट एक्ट 1957 की धारा 63, 65 का अपराध पंजीबद्ध कर अग्रिम कार्यवाही किया गया।

नकली उत्पाद धड़ल्ले से सप्लाई

जनता से रिश्ता पिछले कई साल से नकली उत्पादों और नशे के खिलाफ समाचार प्रकाशित कर रहा है। राजधानी में आसपास के छोटे शहरो और कस्बो में निर्मित बड़े ब्रांड के नकली उत्पाद धड़ल्ले से सप्लाई की जा रहे है। तिल्दा-नेवरा, भाटापारा , दुर्ग, भिलाई, चकरभाटा सहित राजधानी के आसपास नकली सामान बनाये जा रहे हैं। नकली काजू, बादाम के अलावा दवाइयां और अन्य खाने पीने की वस्तुयें भी इन लोगो द्वारा नकली तैयार की जा रही है। फूड एंड ड्रग सेफ्टी विभाग द्वारा भी नियमित चेकिंग नहीं की जाती। शिकायत करने पर सम्बंधित जगह पर छापेमारी की जाती है लेकिन वह भी औपचारिकता के रूप में होती है। जबकि नियमित रूप से चेकिंग करना इनकी जिम्मेदारी होती है। पुलिस विभाग में भी नकली सामानो की जाँच करने के लिए अलग से विंग नहीं है जो नकली मॉल की जाँच करे। लोगों की और सम्बंधित कंपनी के प्रतिनिधियों द्वारा की गई शिकायत के आधार पर जाँच के नाम पर खानापूर्ति करते हैं। पुलिस कानून व्यवस्था पर ध्यान रखे या इन नकली सामान बेचने वालों पर शिकंजा कसे तो बाजार में नकली उत्पाद नहीं आ सकेगा।

छुटभैये नेताओं का खेल

देखा ये भी जा रहा है कि नकली सामने की फैक्ट्रियां छुटभैये नेताओं की होती है या ये फैक्ट्री वाले इन छुटभैये नेताओं से नज़दीकी बना कर रखते हैं ताकि समय पर ये इन अवैध गतिविधियों को संचालित करने में इनकी मदद करें। छोटे शहरों के छुटभैये नेता अपने शहर के मुख्यमंत्री से कम नहीं होते, चाहे वह पार्षद हो या वार्ड का छोटा-मोटा नेता क्यों ना हो। इन्हीं के संरक्षण में या ये खुद इन कामों को संचालित करते हैं। जिनके गिरेबान तक स्थानीय पुलिस के हाथ पहुंचने में ही कांपने लगते हैं। मीडिया वालों की भूमिका भी संदिग्ध होती है। रिपोर्ट तैयार करने के नाम पर उगाही करने में मीडिया वाले भी पीछे नहीं रहते।

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