भाजपा के खिलाफ आला कमान के प्रदर्शन में अपने ही शक्ति प्रदर्शन की नाकाम कोशिश
रायपुर (जसेरि)। मंत्री टीएस सिंहदेव की सीएम बनने की लालसा को समर्थकों ने और हवा दे दी है। विधानसभा चुनाव के बाद से ही सीएम की रेस में शामिल रहे टीएस बाबा की मुख्यमंत्री बनने की लालसा सामने आई थी और उन्होंने हाईकमान के सामने अपनी इच्छा भी जताई थी। लेकिन हाईकमान ने भूपेश बघेल को राज्य सरकार की जिम्मेदारी सौंपी तब ढाई-ढाई साल के फार्मूले की बात सामने आई। हाल हि में सरकार के ढाई साल का कार्यकाल पूरा होने के बाद मुख्यमंत्री बदले जाने की चर्चा आम हो गई थी। भूपेश और सिंहदेव दोनों ने हाईकमान के फैसले को स्वीकार करने की बात कहकर इस बात को दबाते रहे लेकिन कल दिल्ली में टीएस समर्थकों के प्रदर्शन ने इस विवाद को फिर हवा दे दी है। बाबा साहब ने यूथ कांग्रेस की दिल्ली रैली में किराये के टट्टू का जुगाड़ कर अपनी हतासा को प्रकट किया। वरिष्ठ कांग्रेस नेता अपने नाम नहीं छापने के शर्त पर दिल्ली में हमारे प्रतिनिधि को बताया कि टीएस बाबा जैसे वरिष्ठ कांग्रेस नेता के द्वारा इस तरीके का आलाकमान को चुनौती देने वाला प्रदर्शन वह भी अलग से ना होकर भाजपा के खिलाफ हो रहे कांग्रेस आलाकमान के आयोजन में दखल देकर चुनौती देने का कार्य किया। आलाकमान में परंपरा रही है कि दबाव और चुनौती देने वाले नेताओं को हमेशा इंदिरा गांधी के कार्यकाल के समय से ही बर्दाश्त नहीं किया जाता। सूत्रों से जानकारी के अनुसार इस मामले में भी आलाकमान अपने वरिष्ठ जानकार नेताओं के माध्यम से जानकारी एकत्र कर सच्चाई का पता लगाएगी।
सूत्रों से जो जानकारी आ रही है, राहुल गांधी के यूथ कांग्रेस के शक्ति प्रदर्शन में जो नारे लगाये जा रहे थे, नारे लगाने वाले कोई नहीं दिल्ली के आसपास के यमुना नगर के, लक्ष्मी नगर के, सिलमपुर के और कुछ गांधी नगर के आसामाजिक तत्वों ने 500 -500 सौ रूपये लेकर छत्तीसगढ़ की लोकप्रिय सरकार और लोकप्रिय सीएम भूपेश बघेल की सरकार के खिलाफ नारेबाजी कर राहुल गाँधी के कार्यक्रम में व्यवधान डाला, जबकि कार्यक्रम बीजेपी के महगांई विरोधी और किसान आंदोलन एवं आम जनो की तकलीफों को देखते हुए बीजेपी के खिलाफ रखा गया था. बीजेपी की केंद्र सरकार के खिलाफ कांग्रेस के जन आंदोलन को नुकसान पहुंचाते हुए दिमाक से पागल नेताओं ने इन असमाजिक तत्व को अतिरिक्त पैसा मुहैया कराया है। ये जानकारी लक्ष्मी नगर के सुरेंद्र चावला द्वारा दी गई है। रंग में भंग डालते हुए गांधी नगर के कुछ असामाजिक तत्व ने टीएस बाबा के एक समर्थक जो छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस कमिटी में पदाधिकारी बनना चाहते थे वही नेता ने अपने गुरु टीएस बाबा को खुश करने के लिए राहुल गांधी के इस कार्यक्रम में व्यवधान डाला। और आंदोलन की राह को भटकाने की गुरेज से भी बाज नहीं आए। सूत्रों से जानकारी आ रही है, टीएस बाबा के समर्थक और टीएस बाबा वतर्मान में भूपेश बघेल के सीएम पद में बने रहने पर अपनी नाराजगी हर स्तर में प्रकट करने से नहीं चूकते। इसलिए इस तरीके से पार्टी विरोधी हरकत कांग्रेस पार्टी के सर्चोच्च नेता राहुल गांधी के कार्यक्रम में व्यवधान पैदा करने की नाकाम कोशिश की। तथा अपने नाम का नारा लगवा कर आलाकमान के सामने हिम्मत प्रकट कर चुनौती दे डाली। इससे ये प्रतीत होता है, कि हताशा में भी वे मुख्यमंत्री पद पाने की लालसा नहीं छोड़े। हताश और निराश होने के कारण वे अपने विभागीय काम गंभीरता से नहीं करते हुए भी सीएम पद की दौड़ में यदाकदा नाकाम कोशिश करते रहते है। छत्तीसगढ़ के एक वरिष्ठ कांग्रेस नेता ने अपनी बात को जनता से रिश्ता से साझा की और हमारे अखबार में छपी टीएस बाबा के विभागों की खबरों को संज्ञान में लाया। जैसे कि छत्तीसगढ़ के अस्पतालों की स्थिति कोरोना काल से लेकर अभी तक खराब स्थिति, रेमेडेशिविर की कालाबाजारी को पूरी तरह से उजागर किया है। प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना जिसके ये विभागीय मंत्री है। उसमे भी 20 सालों से बीजेपी शासन काल से जमे हुए भ्रष्ट अधिकारियों के मनमर्जी के अनुसार अभी तक बनाये रखना और पुरे प्रदेश में प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के सड़क नहीं दिखना ये भी एक आश्चर्य चकित किन्तु सत्य से परे नहीं है। नहीं तो अब तक जांच कराकर अपने आप को सच्चा कांग्रेसी साबित करने के अवसर को गंवाते नहीं। टीएस बाबा ने अपने विभाग के कर्मचारियों के अलावा रिटायर्ड जज एवं जन प्रतिनिधियों को शामिल कर विगत 20 सालो से प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के सड़कों का भौतिक सत्यापन कर जांच उपरांत पूर्व सरकार के भ्रष्ट नेता एवं अधिकारी जेल के सलाखों के पीछे रहते। अपने विभागों का काम गंभीरता से न देख हताशा का परिचय देते हुए टीएस बाबा के समर्थको ने आला कमान के सामने कार्य्रकम में व्यवधान डालते हुए शक्ति प्रदर्शन के साथ चुनौती देने की नाकाम कोशिश की। इस बात कि जमकर चर्चा पूरे देश के यूथ कांग्रेस के पदाधिकारी और जनता के बीच चर्चा हो रही है। आल इण्डिया कांग्रेस कमिटी के बड़े नेता ने उपरोक्त बातों को गंभीरता से लेते हुए एक नोट शीट आलाकमान के सामने पेश करने का मन बनाया है। राहुल गांधी ने भी ऐसे कार्यक्रम पर अपनी सरकार के खिलाफ नारे लगवाने पर कड़ी कार्रवाई का मन बनाकर अपने खुफिया सूत्रों से असामाजिक युवकों की पहचान कर निर्देश देंगे।