जन घोषणा पत्र में नियमितिकरण का वादा किया गया था
दस से पंद्रह साल से कार्यरत दैवेभो कर्मचारियों के साथ विभाग कर रहा नाइंसाफी
जब बड़ी संख्या में नियमित पद रिक्त है तो विभाग सीधी भर्ती के लिए उतावला क्यों
विभाग का कहना है बजट नहीं जबकि सरकार बजट उपलब्ध करा रही है
जसेरि रिपोर्टर
रायपुर। छत्तीसगढ़ सरकार के कार्यकाल में वन विभाग के दैनिक वेतन भोगी नियमितीकरण के लिये तरस रहे है, और इधर विभाग सीधी भर्ती करने कि तैयारी कर रहा है, सरकार और विभाग के द्वारा कितना छलावा करने का कवायद जारी है, जन घोषणा पत्र में दैनिक वेतन भोगियों को नियमितीकरण वाले दिये गये वादें को दरकिनार करके, शासन और प्रशासन दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों को सेंध लगाना चाह रहा है। वन विभाग में जब वन रक्षक, सहायक ग्रेड 03,वाहन चालक, भृत्य, अर्दली के इतने सारे पद रिक्त है तो रिक्त पदों पर क्यों समायोजन (संविलियन) नही करते सरकार, दो साल वाले शिक्षा कर्मियों को नियमितीकरण कर दिया किन्तु 10-15 वर्षो से कार्यरत दैनिक वेतन भोगियों के सांथ सरकार के द्वारा इस प्रकार के व्यवहार उचित नही है। सरकार का कहना है कि बजट नही होने के कारण नियमितीकरण नही हो पा रहा है , फिर अभी सरकार के पास प्रत्येक जिला को बजट उपलब्ध करायी जा रही है।
क्यों नियमितीकरण नही किया जा रहा है, दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों को नियमितीकरण लियें 300 करोड़ रूपया का जरूरत है किन्तु सरकार कहती है पैसा नही है, सब संभव हो जाता जब सरकार चाहता किन्तु विभाग की मंशा समझ से परे है। अधिकारी लोगों का भी एक लाईन में जवाब रहता है हम नियमितीकरण करने के लिये तैयार है, किन्तु जबतक मुख्यमंत्री जी का निर्देश नही होगा नही कर सकते, तुम लोग मुख्यमंत्री के पास जाओ कहा जाता है। अब मुख्यमंत्री महोदय जी का अता पता नही, मिलने हेतु साल भर से आवेदन लगाये बैठे है किन्तु मिलने का नाम नही।कर्मचारी संघों ने मुख्यमंत्री से जन घोषणा पत्र के मुताबिक दैवेभो कर्मचारियों को तत्काल नियमित करने की गुहार लगाई है। कर्मचारी नेताओ ने एक स्वर में मांग की है कि ढ़ाई साल के कार्यकाल में मध्यप्रदेश सरकार ने नियमितीकरण कर दिया है तो छत्तीसगढ़ में देरी क्यों की जा रही है। उन्होंने दैवेभो कर्मचारियों के हिट में निर्णय लेने की अपील की है।
नियमितीकरण का रास्ता खोलिये
वन विभाग के दैनिक वेतन भोगी कर्मचारी जो अतिसंवेदनशील क्षेत्रों में कार्य करते करते जीवन न्योछावर कर दिये है, उनके हित में उचित निर्णय लेकर विभाग प्रमुख को निर्देशित करें ताकि दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों के लिये नियमितीकरण का रास्ता खुल सके।
- कमलनारायण साहू , अध्यक्ष दैवेभो वन कर्मचारी संघ