कमल विहार में बनेगी देश के चार्टेड एकाउंटेंट्स की सबसे बड़ी शाखा
रायपुर। रायपुर विकास प्राधिकरण की कमल विहार योजना में अगले तीन सालों में देश के चार्टेड एकाऊंटेंट्स की सबसे बड़ी शाखा बनेगी। इस हेतु इस्टीट्यूट ऑफ चार्टेड एकाऊंटेंट इंडिया (आईसीएआई) रायपुर शाखा ने कमल विहार के सेक्टर 11ए में 76,129 वर्गफुट का एक शैक्षणिक भूखंड खरीदा है।
आईसीएआई रायपुर के अध्यक्ष अमिताभ दुबे ने बताया कि इंस्टिट्यूट ऑफ़ चार्टर्ड एकाउंटेंट्स ऑफ़ इंडिया जिसे भारतीय सनदी लेखाकार संस्थान के नाम से जाना जाता है है और यह भारत के संसद के एक अधिनियम द्वारा 1949 में स्थापित एक सांविधिक निकाय है। यह निकाय कॉर्पोरेट मामलों के मंत्रालय, भारत सरकार के प्रशासनिक नियंत्रण में कार्य करता है। आईसीएआई दुनिया में चार्टर्ड एकाउंटेंट्स का दूसरा सबसे बड़ा पेशेवर निकाय है, जिसमें जनहित में भारतीय अर्थव्यवस्था की सेवा की एक मजबूत परंपरा है। समय के साथ आईसीएआई ने तकनीकी, नैतिक क्षेत्रों में उच्चतम मानकों को बनाए रखने और कड़े परीक्षा और शिक्षा मानकों को बनाए रखने के लिए न केवल देश में बल्कि विश्व स्तर पर एक प्रमुख लेखा निकाय के रूप में मान्यता प्राप्त की है।
आईसीएआई रायपुर के उपाध्यक्ष ने कहा कि रायपुर विकास प्राधिकरण की नगर विकास योजना कमल विहार में इस संस्थान के खुलने से यह छत्तीसगढ़ राज्य के आर्थिक विकास मे काफी मददगार होगा। इससे राज्य के व्यापार और उद्योग को भी बढ़ावा मिलेगा। देश-विदेश के छात्र और प्रोफेशनल लोग भी यहां आएगें। राज्य का वित्तीय प्रबंधन भी मजबूत होगा। छात्रों को सीए बनने के बाद के प्रोफेशनल नालेज अपडेशन के पाठ्यक्रम भी यहां भविष्य में शुरु होगें। रायपुर के संस्थान से 1500 सदस्य और 5000 छात्र जुड़े हुए है। वर्तमान में देश में 180 शाखाएं और विदेशों में 40 शाखाएं है। उन्होंने कहा कि आज देश में चार्टेड एकाऊन्टेंट्स के लगभग 7 लाख छात्र हैं। रायपुर शाखा भवन बनने के बाद रोजगार के अवसर तेजी से बढ़ेगें।
आईसीएआई के सात राज्यों के सेन्ट्रल कमेटी के सदस्य किशोर बरड़िया बताया कि रायपुर में ऩए और बड़े भवन में संस्थान शुरु होने से चार्टर्ड एकाऊंटेंट कोर्स की शिक्षा और परीक्षा, सदस्यों की सतत व्यावसायिक शिक्षा, योग्यता के बाद के पाठ्यक्रम आयोजित करना,लेखांकन मानकों का निरूपण, मानक लेखा परीक्षा प्रक्रियाएं, नैतिक मानकों को निर्धारित करने, सहकर्मी समीक्षा के माध्यम से गुणवत्ता की निगरानी, सदस्यों के प्रदर्शन के मानकों को सुनिश्चित करने, अनुशासनिक क्षेत्राधिकार, वित्तीय रिपोर्टिंग समीक्षा, सरकार को नीतिगत मामलों पर इनपुट, अकाउंटेंसी के पेशे को विनियमित करने की गतिविधियां संचालित होगी।