बाल श्रम की समाप्ति में योगदान करें और बच्चों को नशे से दूर करे
सूरजपुर। कलेक्टर संजय अग्रवाल के निर्देशानुसार एवं जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला एवं बाल विकास विभाग के मार्गदर्शन में जिला बाल संरक्षण इकाई तथा चाईल्ड लाईन के द्वारा सतत् निरीक्षण कार्य किया जा रहा है। निरीक्षण के दौरान दल द्वारा विकासखण्ड रामानुजनगर के मुख्य बाजार क्षेत्र एवं देवनगर के मुख्य बाजार क्षेत्र के बस स्टैण्ड, मुख्य मार्ग के दुकानों, बाजारों, में निरीक्षण कार्य किया गया। इस दौरान कोई भी बालक बाल श्रम एवं भिक्षा मांगते हुए नहीं पाया गया।
दुकानदारों को पम्पलेट के माध्यम से बताया गया कि बच्चों को बाल श्रम में नियोजित किये जाने पर 20000 रूपयें से 50000 रूपये तक का जुर्माना या 06 माह से 2 साल तक कारावास या दोनों से भी दण्डित किया जा सकता है। रामानुजनगर के बस स्टैण्ड में पान दुकान के संचालकों को जानकारी दी गयी कि 18 वर्ष से कम उम्र के बच्चों को नशीले पदार्थ जैसे पान, गुटखा, पान मसाला, तंबाकू, सिगरेट इत्यादि की बिक्री ना करें। मेडिकल शॉप के दुकानों में बताया गया कि 18 वर्ष से कम उम्र के बच्चों को कोई भी दवा बिना डॉक्टर की पर्ची के बिना न देे। नशीले टैबलेट, सीरप या नींद आने वाली दवा बच्चों के मॉगने पर इसकी बिक्री न करे। बल्कि इसकी सूचना दे। इस दौरान जिला बाल संरक्षण इकाई से अखिलेश कुमार, जैनेन्द्र दुबे चाईल्ड लाईन से समन्वयक कार्तिक मजूमदार, नंदनी खटीक, पुलिस विभाग से डी.एस. मार्काे, महिला बाल विकास से पर्यवेक्षक गंगोत्री देवी अभियान में उपस्थित रहें।