छत्तीसगढ़/बेमेतरा। कोरोना संक्रमण एवं लॉकडाउन के संकटकाल में शासन-प्रशासन के दिशानिर्देश पर एक ओर पुलिसकर्मियों को अपने कार्यक्षेत्र में व्यवस्था व अनुशासन के साथ महामारी के सम्बंध में जागरूकता एवं प्रोटोकॉल के उल्लंघन के बीच कार्यवाही के लिए के लिए जाने जा रहे है। वही दूसरी ओर ऐसे मुश्किल दौर में कुछ पुलिसकर्मियों के नए कारनामे हंसी का पात्र बना हुआ है। जो सोशल मीडिया पर भी चर्चित होकर आमलोगों के बीच प्रशासन की कार्यशैली जगहंसाई का अवसर बन रहा है। ताज़ा मामला कथित तौर पर बेरला थाना सम्बद्ध, कंडरका चौकी के ग्राम कोहड़िया में पुलिसकर्मियों के द्वारा गाँव की गलियों में मुर्गी पकड़ते वीडियो सोशल मीडिया में खूब ट्रेंड कर रहा है। जिसमे वीडियो के हिसाब से करीब दो-तीन पुलिसकर्मी पूरे पुलिसिया अंदाज में अपने शासकीय सायरन युक्त डग्गा वाहन से उतरकर गाँव के दो-तीन लोगों की मौजूदगी में मुर्गियों को डंडे व पत्थर मारकर पकड़ने की कोशिश कर रहे है। जिसमे लॉकडाउन के ऐसे दौर मे पुलिसकर्मियों का मुर्गी पकड़ने का स्टाईल खूब भा रहा है और कई लोगो को नागवार रहा है। वही लोग इस वीडियो को जमकर सोशल मीडिया में तरह तरह की प्रतिक्रिया व के साथ वायरल कर खूब मज़ा ले रहे है। जो इन दिनों सुर्खियों में बना हुआ है।
इस सम्बंध में जब उक्त गाँव के लोगों से मीडिया की टीम ने बात की तो बता चला कि लॉकडाउन लगे होने के चलते पुलिस की टीम गस्ती में थे इसी दरमियान उनकी नज़र गाँव के मुर्गे-मुर्गियों पर पड़ी। ततपश्चात मांसाहारी चटपटा खाने व शौख पूरा करने के मकसद से पुलिसकर्मियों द्वारा लगभग 7 देशी मुर्गे-मुर्गियों को पकड़कर ले जाया गया। जिसके बदले उक्त मुर्गी पालक को 500 रुपये स्टॉफ के द्वारा थमाने की भी बात सामने आ रही है।जो कि ऐसे भीषण दौर के लिये शर्मनाक है।क्योंकि ज़िलेभर में ऐसे भी पुलिसकर्मी है जो कोरोनाकाल में जी जान से प्रशासन के गाइडलाइंस का पूरा कराने समर्पित रुप से कार्य कर रही है। जबकि कण्डरका पुलिस सिर्फ अपने मौज-मस्ती व शौख को पूरा कर रही है।इस सम्बंध में जब ग्राम के सरपंच पुनीत राम वर्मा से बात की गई तो उन्होंने इसे गलत करार देते हुए झुठलाकर मामले पर पर्दा डालने का प्रयास किया गया। साथ ही कॉल बीच मे काटकर मोबाईल को व्यस्त ज़ोन में डाल दिया गया। जिससे साफ पता चलता है कि सरपँच भी इस घटना से जुड़ा हुआ हो सकता है। वही बात की जाए कण्डरका पुलिस की तो अपने चौकी क्षेत्र में रोजाना दौरे कर कई चालाने काटी जा रही है, जिसमे उफरा के एक शादी कार्यक्रम में करीब 2000 से 3000 रुपये लेकर कार्यवाही किये जाने की बात सामने आ रही है।साथ ही कण्डरका चौकी क्षेत्र ज़िले का सीमावर्ती इलाके में होने के कारण प्रशासनिक पकड़ ढीली व निष्क्रियता है, जिससे लोगों की मनमानियां भी चलती है।
इस सम्बंध मे ज़िला पुलिस अधीक्षक दिव्यांग कुमार पटेल ने बताया कि मामला संज्ञान में अभी तक नही आया है,अगर खाकी वर्दी के साथ ड्यूटी के दौरान ऐसा किया गया है तो जांच कराई जाएगी।मामले में सही पाए गए तो कड़ी कार्यवाही भी की जाएगी।