रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राज्य स्थापना दिवस पर राज्य साक्षरता मिशन प्राधिकरण के जिला और ब्लॉक स्तरीय कर्मचारियों को एक साल के लंबित वेतन की स्वीकृति का तोहफा दिया है. मुख्यमंत्री की पहल पर वित्त विभाग ने दिवाली पूर्व कर्मचारियों को भुगतान करने के लिए 2 करोड़ 65 लाख की राशि जारी की है. गौरतलब है कि राज्य साक्षरता मिशन प्राधिकरण के राज्य, जिले और ब्लॉक स्तरीय कर्मचारी जिनकी कुल संख्या 125 है, का वेतन एक वर्ष से लंबित है. मुख्यमंत्री की पहल पर वित्त विभाग द्वारा दीपावली त्योहार को दृष्टिगत रखते हुए उनके एक वर्ष के वेतन का भुगतान के लिए राज्य साक्षरता मिशन प्राधिकरण एवं जिला लोक शिक्षा समिति के कार्यालय संचालन के लिए स्थापना एवं अन्य अनुदान अंतर्गत आबंटन की स्वीकृति प्रदान की है.
वर्तमान में भारत सरकार के स्कूल शिक्षा एवं साक्षरता विभाग द्वारा 'पढ़ना-लिखना अभियान' को स्वीकृति प्रदान की गई है. इसमें आगामी 5 वर्षों में प्रदेश के एक तिहाई असाक्षरों (लगभग 60 लाख) को साक्षर किया जाना है. इस वर्ष कोविड-19 के चलते 2 लाख 50 हजार असाक्षरों को साक्षर किए जाने का लक्ष्य है. प्रदेश में पढ़ना-लिखना अभियान के क्रियान्वयन के लिए वर्तमान में कार्यरत अमले की नितांत आवश्यकता है.
स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा जिला साक्षरता समिति जांजगीर-चांपा को 17 लाख 60 हजार रूपए, जशपुर को 18 लाख 20 हजार रूपए, कबीरधाम को 12 लाख 20 हजार रूपए, कोरबा को 13 लाख 10 हजार रूपए, कोरिया को 10 लाख 70 हजार रूपए, महासमुंद को एक लाख 60 हजार रूपए, रायपुर को 7 लाख रूपए, बलौदाबाजार-भाटापारा को 7 लाख 70 हजार रूपए, गरियाबंद को 5 लाख 30 हजार रूपए, सरगुजा को 17 लाख 20 हजार रूपए, सूरजपुर को 16 लाख 10 हजार रूपए, बलरामपुर-रामानुजगंज को 14 लाख 20 हजार रूपए, बस्तर-जगदलपुर को 2 लाख रूपए, नारायणपुर को 4 लाख 5 हजार रूपए, कोण्डागांव को 5 लाख 80 हजार रूपए, मुंगेली को 2 लाख 75 हजार रूपए, दंतेवाड़ा को 13 लाख 10 हजार रूपए, बीजापुर को 10 लाख 80 हजार रूपए, सुकमा को 9 लाख 90 हजार रूपए, रायगढ़ को 15 लाख रूपए और राजनांदगांव जिला साक्षरता समिति को 17 लाख रूपए की राशि आबंटित की गई है.