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छत्तीसगढ़
छत्तीसगढ़ के सूरजपुर जिले में पदस्थ स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारी से गैस एजेंसी दिलाने के नाम पर 13 लाख 76 हजार रुपए की ठगी कर ली। स्वास्थ्यकर्मी ने अपने बेटे के नाम पर एचपी कंपनी की गैस एजेंसी के लिए गूगल पर सर्च कर ईमेल किया था।
स्वयं को गैस एजेंसी चयन का अधिकारी बताकर किश्तों में अलग-अलग खातों में राशि जमा करा ठगी की। गांधीनगर पुलिस ने मामले में अपराध दर्ज किया है।
जानकारी के मुताबिक, सूरजपुर जिले के उप स्वास्थ्य केंद्र गोवर्धनपुर में आरएचओ के पद पर पदस्थ बैजनाथ दुबे (44) ने करीब 6 माह पूर्व गूगल पर गैस एजेंसी लेने के लिए प्रक्रिया सर्च की। HP गैस कंपनी को ई-मेल किया। उन्हें 16 अप्रैल 2024 को एक मोबाइल नंबर से फोन आया।
फोन करने वाले ने स्वयं को एचपी गैस के एलपीजी वितरक चयन का अधिकारी बताकर जानकारी दी कि आपके गैस एजेंसी का आवेदन अप्रूव हो गया है। फोन करने वाले ने पिनकोड व अन्य जानकारी फोन पर मांगी।
बैजनाथ दुबे को दूसरे दिन 17 अप्रैल 2024 को फोन आया कि आपका अप्रूवल लेटर 24 घंटे में मिलेगा। 19 अप्रैल को एक मेल आया कि आपके एरिया की गैस एजेंसी आपको मिल गई है। फोन करने वाले ने रजिस्ट्रेशन के नाम पर उन्हें 25500 रुपए आरटीजीएस कराने कहा गया। RTGS के लिए पीएनबी का खाता नंबर दिया गया। पैसे भेजे के बाद NOC के नाम पर 70800 रुपए जमा करने कहा गया।
20 अप्रैल को 70800 जमा करने के बाद 21 अप्रैल को फोन और मेल के माध्यम से डीलर लाइसेंस के लिए 147200 रुपए जमा कराने कहा गया। 29 अप्रैल 24 को बैजनाथ दुबे ने 47200 रुपए जमा किया। 26 अप्रैल को 250 सिलेंडर खरीदने के लिए 354000 जमा कराने कहा गया। दूसरा खाता नंबर आईडीबीआई बैंक का दिया गया।
09 मई को पैसे जमा करने के बाद 100 कामर्शियल सिलेंडर लेने के लिए 229700 रुपए जमा कराने को कहा गया। पैसे जमा कराने के बाद डीलर एवं आफिस गोदाम के इंश्योरेंस के लिए 4,40,500 रूपये और जमा कराने कहा गया।
23 मई को 440500 रूपये बैंक खाते में आरटीजीएस करने के बाद ब्रांच सिक्योरिटी के लिए 299000 रुपए जमा कराने को कहा। बैजनाथ दुबे ने उक्त राशि भी जमा करा दी।
24 मई को फोन करने वाले ने कहा कि हमारे फील्ड अधिकारी फील्ड विजिट पर नहीं जा पा रहे हैं। आप मुंबई ऑफिस, मेन ब्रांच एलपीजी वितरक चयन, जी-ब्लॉक, बीकेसी बांद्रा कुली कांप्लेक्स, अंधेरी ईस्ट मुंबई, महाराष्ट्र आकर डीलर लाइसेंस एनओसी और एग्रीमेंट पेपर साइन करके ले जाइए।
बैजनाथ दुबे एक जून को मुंबई पहुंचे एवं फोन किया तो फोन रिसिव्ह नहीं हुआ। वे फोन करने वाले का पता खोजते हुए पहुंचे, लेकिन वह जगह नहीं मिली।
बैजनाथ दुबे ने साइबर क्राइम ब्रांच अंधेरी में भी संपर्क किया। वहां से उन्हें अपने राज्य में जाकर रिपोर्ट दर्ज कराने की सलाह दी गई। उन्होंने अंबिकापुर वापस आकर गांधीनगर थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई। गांधीनगर पुलिस ने धारा 420 के तहत अपराध दर्ज कर लिया है।
बैजनाथ दुबे ने बताया कि वे अपने पुत्र के लिए गैस एजेंसी खोलना चाहते थे। उन्होंने इसके लिए पैतृत भूमि भी बेच दी है। गांधीनगर पुलिस ने बताया कि मामले की जांच की जा रही है।
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