छत्तीसगढ़

CG: निजी अस्पताल में लापरवाही के चलते मासूम की मौत, प्रशासन ने किया सील

Shantanu Roy
5 Nov 2024 6:57 PM GMT
CG: निजी अस्पताल में लापरवाही के चलते मासूम की मौत, प्रशासन ने किया सील
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Lormi. लोरमी। मुंगेली जिले के लोरमी इलाके में बुध केयर हॉस्पिटल रखकर संचालित किया जा रहा था, जहां एक नवंबर को मस्तिष्क ज्वर झटके से पीड़ित बांधी गांव के आदिवासी समाज के 7 वर्षीय बालक धनंजय पिता ओंकार की मौत गलत इलाज करने से हुई थी. यह अस्पताल बिना लाइसेंस के चल रहा था. इसकी खबर लल्लूराम डॉट कॉम में प्रसारित होते ही स्वास्थ्य विभाग ने संज्ञान में लिया और आज अस्पताल को सील किया. वहीं डॉक्टर के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर पुलिस ने उसे हिरासत में लिया है.
इस पूरे मामले में अस्पताल को सील करने की कार्यवाही सहित अस्पताल के संचालक सहित फर्जी डॉक्टर के खिलाफ उस समय एफआईआर दर्ज करने के बाद जेल दाखिल किया गया था. साथ ही उस समय भी आन्या अस्पताल को सील करने की कार्यवाही की गई थी. इसके बाद फिर नया मामला उजागर होने के बाद लोरमी के एसडीएम अजीत पुजारी एसडीओपी माधुरी धिरही, जिला के नोडल डॉ खैरवार, बीएमओ डॉ. जीएस दाऊ सहित पुलिस, राजस्व और स्वास्थ्य विभाग की टीम ने आज बुध केयर अस्पताल में छापेमारी की.
आरोप है कि बिना अनुमति के अवैध तरीके से आईसीयू रुम में तीन मरीजों को भर्ती कर इलाज किया जा रहा था. इसके अलावा बिना लाइसेंस के अवैध तरीके से नर्सिंग होम एक्ट का उल्लंघन करते हुए अस्पताल का संचालन खुलेआम किया जा रहा था, जिस पर जांच के बाद अस्पताल को सील करने सहित फर्जी अस्पताल के डॉक्टर को पुलिस ने हिरासत में लिया है. इस दौरान मौके पर मौजूद डॉक्टर गोकुल कुमार ने एसडीएम और एसडीओपी से जमकर बदसलूकी की.
इस घटना को लेकर एसडीएम अजीत पुजारी ने बताया कि लोरमी के बुध केयर हॉस्पिटल का फर्जी तरीके से संचालन किया जा रहा है. यहां एक सात साल के मासूम बच्चे की मौत गलत इलाज के कारण हुई है. साथ ही फर्जी तरीके से बिना मान्यता के निजी क्लीनिक का संचालन करने की शिकायत जांच में सही पाया गया. इसके अलावा डॉक्टर गोकुल कुमार ने बदसलूकी की है. इसे देखते हुए फर्जी क्लिनिक को सील करने सहित नियमानुसार कार्यवाही की जा रही है. इस दौरान एसडीएम ने इलाके में फर्जी क्लिनिक सहित अस्पताल चलाने वालों के खिलाफ आगे भी कार्रवाई करने की बात कही है.
वही इस घटना को लेकर लोरमी एसडीओपी माधुरी धिरही ने बताया कि बुध केयर हॉस्पिटल की जांच के समय डॉक्टर ने अधिकारियों से बदसलूकी की. जांच में बाधा डालने वाले डॉक्टर के खिलाफ कई धाराओं के तहत एफआईआर दर्ज कर उनके खिलाफ कार्रवाई की जा रही है. उन्होंने बताया कि जिस मकान पर अवैध रूप से निजी अस्पताल का संचालन किया जा रहा था जिसे कुछ माह पहले ही मकान मालिक मीना देवी पति महेश नामदेव के आवेदन पर शर्त अनुसार पुराने घटना में हुए सील को खोला गया था. इसमें मकान मालिक ने किसी को अस्पताल चलाने उस भवन को नहीं देने का जिक्र भी किया था. बावजूद इसके जिला प्रशासन को झूठा आवेदन देकर अनुमति ले लेने के बाद उनके द्वारा उसी मकान को किराए में देकर अस्पताल का संचालन कराया जा रहा था.
इलाके के बांधी गांव के रहने वाले 7 वर्षीय धनंजय को एक नवंबर 2024 को बुखार आने पर उनके पिता ओंकार ध्रुव ने उसे सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लोरमी में भर्ती कराया था. प्राथमिक उपचार के बाद रात्रि साढ़े 11 बजे मरीज को जिला अस्पताल मुंगेली रेफर किया गया. इस दौरान मौके पर शासकीय अस्पताल के सामने एंबुलेंस एवं दलाल किस्म के लोगों द्वारा परिजनों को बहकावे में लेकर बुध केयर निजी अस्पताल उपचार के लिए भर्ती करा दिया गया था, जहां चाइल्ड स्पेशलिस्ट डॉक्टर नहीं होने के कारण वार्ड व नर्स ने गलत उपचार किया. इससे मरीज की हालत और बिगड़ गई. देर रात तक अस्पताल प्रबंधक द्वारा मरीज को सही इलाज नहीं मिलने के कारण बच्चे की मौत हो गई.
इस अवैध अस्पताल की भूमिका पर सवाल उठाते हुए आक्रोशित आदिवासी समाज के लोगों ने जल्द ही जांच के बाद कार्रवाई की मांग को लेकर लोरमी एसडीएम को ज्ञापन सौंपा है. आदिवासी समाज के तरफ से दीप ध्रुव ने आरोप लगाते हुए कहा कि अस्पताल परिसर में लगे सीसीटीवी कैमरे की जांच भी होनी चाहिए, ताकि यह स्पष्ट हो सके कि 7 साल के बच्चे सहित उनके परिजनों को किनके द्वारा बहकावे में लाकर उन्हें बुध केयर अस्पताल ले जाया गया, जहां इलाज के अभाव में बच्चे की मौत हुई है. उनके खिलाफ भी कड़ी से कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए.
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