22वां वसुंधरा सम्मान लीलाधर मंडलोई को, 14 अगस्त को होंगे सम्मानित
रायपुर। कीर्ति शेष देवी प्रसाद चौबे की स्मृति में स्थापित एवं लोकजागरण के लिए प्रदत्त वसुंधरा सम्मान इस वर्ष सुविख्यात साहित्यकार लीलाधर मंडलोई को प्रदान किया जाएगा।सुविख्यात पत्रकार श्री दिवाकर मुक्तिबोध की अध्यक्षता में गठित निर्णायक समिति के सदस्यों-विनोद मिश्र,ई.वी.मुरली, अरुण श्रीवास्तव, समीर दीवान,राजेश गनोदवाले एवं मुमताज ने इस निर्णय की घोषणा की है।समारोह का आयोजन रविवार14 अगस्त को संस्कृति विभाग छत्तीसगढ़ शासन के सहयोग से लोकजागरण की पत्रिका कृति वसुंधरा एवं श्री चतुर्भुज मेमोरियल फाउंडेशन द्वारा संयुक्त रुप से किया गया है।
छिंदवाड़ा जिले के गुढ़ी गांव मे जन्मे लीलाधर मंडलोई की शिक्षा-दीक्षा रायपुर और भोपाल में हुई है।वे दूरदर्शन और आकाशवाणी के महानिदेशक के अलावा प्रसार भारती बोर्ड के भी सदस्य रह चुके हैं।उनकी रचनाओं में छत्तीसगढ़ के जन जीवन का सजीव चित्रण है।कविता, लोककथा,यात्रा वृतांत, डायरी, मीडिया, रिपोर्ताज, आलोचना, कथेतर गद्य जैसी अनेक विधाओं मे उन्होंने सार्थक और सकारात्मक लेखन किया है।अंदमान निकोबार द्वीप समूह की जनजातियों की लोककथाओं पर लिखा गया उनका गद्य एक समाज शास्त्रीय अध्ययन का अत्यंत प्रामाणिक दस्तावेज है।लीलाधर मंडलोई ने विभिन्न विधाओं में 20 से अधिक पुस्तकों का लेखन सम्पादन किया है।अनेक भारतीय एवं वैदेशिक भाषाओं में उनकी रचनाओं का अनुवाद हो चुका है।वे पूर्व में अनेक प्रतिष्ठित सम्मानों से सम्मानित हो चुके हैं।
इसके पूर्व वसुंधरा सम्मान सर्वश्री रमेश नैयर,कुमार साहू, श्यामलाल चतुर्वेदी, बसंत कुमार तिवारी, विनोद शंकर शुक्ल, शरद कोठारी, बबन प्रसाद मिश्र,हिमांशु द्विवेदी, दिवाकर मुक्तिबोध, आशा शुक्ला, गिरिजाशंकर, ज्ञान अवस्थी, श्याम वेताल, अभय किशोर,सुशील त्रिवेदी, गिरीश पंकज, बी.के.एस.रे,प्रकाश दुबे, तुषार कांति बोस,ई.वी.मुरली एवं सतीश जायसवाल को प्रदान किया जा चुका है।