सिवान न्यूज़: जिले में कई दवा दुकान बिना निबंधन के ही संचालित किए जा रहे हैं. ऐसे दवा दुकान संचालकों के खिलाफ समय-समय पर कार्रवाई नहीं होने से इनका मनोबल दिन-प्रतिदिन बढ़ता ही जा रहा है. जबकि, विभाग का कहना है कि बिना निबंधन दवा दुकान का संचालन करने पर सजा का प्रावधान है.
विभाग से मिली जानकारी के अनुसार, इस वर्ष औषधि व प्रसाधन अधिनियम 1940 नियमावली, 1945 के तहत नियमों का पालन नहीं करने पर 18 दवा दुकान के लाइसेंस निलंबित किया गया है. जबकि 02 का लाइसेंस रद्द किया गया है. वहीं पिछले वर्ष जांच के दौरान फार्मासिस्ट के नहीं होने, क्रय विक्रय संबंधी अभिलेख प्रस्तुत नहीं करने व अन्य कारणों से कुल 11 अनुज्ञप्ति रद्द की गयी थी. वहीं 70 लाइसेंस को निलंबित कर दिया गया था.
जिले में कुल 02 हजार 462 दवा की दूकानें ही हैं निबंधित विभागीय जानकारी के अनुसार जिले में कुल 02 हजार 462 दवा दुकानों का ही लाइसेंस दिया गया है. इनमें 01 हजार 91 होल सेल, 775 फुटकर, खुदरा व थोक 23 व प्रतिबंधित (खुदरा) की कुल 526 दुकानें शामिल हैं. वहीं होमियोपैथी की कुल 08 थोक दुकानों, खुदरा 08 व थोक व खुदरा कुल 31 दुकानों का लाइसेंस जारी किया गया है.
क्या कहते हैं पदाधिकारी सहायक औषधि नियंत्रक विजय कुमार ने बताया कि जिले में अवैध संचालित दवा दुकानों की सूची उनके पास उपलब्ध नहीं है.
हालांकि, जानकारी प्राप्त होने पर ऐसे दुकान संचालकों के खिलाफ जांच की जाती है. साथ ही, सभी निबंधित दवा दुकानदारों को नियमसंगत दुकान संचालन का निर्देश दिया गया है.