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बिहार में महापर्व छठ पूजा की तैयारियां शुरू! जानिए नहाय खाय और खरना की तारीखें

Shiddhant Shriwas
3 Nov 2021 2:03 AM GMT
बिहार में महापर्व छठ पूजा की तैयारियां शुरू! जानिए नहाय खाय और खरना की तारीखें
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छठ पूजा का पर्व मुख्य रूप से बिहार, झारखंड और पूर्वी उत्तर प्रदेश में मनाया जाता है. वहीं, इस बार छठ पूजा 10 नवंबर 2021 को मनाया जाएगा.

बिहार (Bihar) के प्रसिद्ध (Famous) लोकपर्व छठ पूजा (Chatth Puja 2021) की तैयारियां दीवाली (Diwali) के साथ ही शुरू हो गई हैं. वहीं, बिहार के अवाला झारखंड और पूर्वी उत्तर प्रदेश समेत देश के कई हिस्सों में दिवाली के बाद छठ पूजा की शुरुआत होती है. इस दौरान दूर-दराज प्रदेशों में रहने वाले लोग छठ पूजा के लिए बिहार पहुंचने लगे हैं. संतान की प्राप्ति एवं उसके सुखी जीवन के लिए हर साल कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि को छठ पूजा होती है. यह व्रत मुख्यत: 3 दिनों का होता है. इस दिन सूर्य देव की पूजा होती है, इसलिए इसे सूर्य षष्ठी भी कहा जाता है. हर साल दिवाली से छठे दिन छठ पूजा का आयोजन होता है.

दरअसल, इस बार छठ पूजा 10 नवंबर 2021 को मनाया जाएगा. यह बिहार के सबसे कठिन व्रतों में से एक है. पुराणो के अनुसार मान्यता है कि छठ मइया का व्रत रखने वाले व विधि-विधान से पूजा करने वाले दम्पति को संतान सुख मिलता है. इसके साथ ही परिवार में सुख-समृद्धि आती है. ऐसे में छठ पूजा का व्रत सूर्य देव को समर्पित होता है जो मुख्यरूप से 3 दिनों तक चलता है. वहीं, दिवाली बाद की षष्टी तिथि को सूर्य षष्ठी भी कहा जाता है. आइए जानते हैं इस वर्ष छठ पूजा की प्रमुख तारीखों के बारे में.
जानिए छठ पूजा 2021 का कैलेंडर.
1- 08 नवंबर: दिन: सोमवार: नहाय खाय से छठ पूजा का प्रारंभ.
2- 09 नवंबर: दिन: मंगलवार: खरना.
3- 10 नंवबर: दिन: बुधवार: छठ पूजा, डूबते सूर्य को अर्घ्य.
4- 11 नवंबर: दिन: गुरुवार: उगते हुए सूर्य को अर्घ्य, छठ पूजा समापन.
नहाय खाय
बता दें कि नहाय खाय के दिन छठ पूजा/व्रत करने वाले परिवार लोग घर को साफ, पवित्र करके पूजा सामग्री एक स्थान पर रखते हैं. इस दिन सभी लोग सात्विक आहार लेते हैं.
खरना
वहीं, छठ पूजा का दूसरा सबसे महत्वपूर्ण दिन खरना होता है. इसे लोहंडा भी कहते हैं. खरना वाले दिन पूरे दिन व्रत रखा जाता है और रात में पूरी पवित्रता के साथ बनी गुड की खीर का सेवन किया जाता है. खीर खाने के बाद अगले 36 घंटे का कठिन व्रत रखा जाता है. खरना के दिन छठ पूजा का प्रसाद भी तैयार किया जाता है.
छठ पूजा
खरना के अगले दिन छठी मइया की पूजा होती है. इस दिन व्रती डूबते सूर्य को अर्घ देकर जल्दी उगने और संसार पर कृपा करने की प्रार्थना करते हैं. इस साल छठ पूजा 10 नवंबर को है। छठ पूजा के दिन डूबते सूर्य को अर्घ्य दिया जाता है.
छठ पूजा का समापन
छठ पूजा का समापन 11 नवंबर को उगते सूर्य को अर्घ देने के साथ ही छठ का कठिन व्रत संपन्न हो जाता है. बीते 36 घंटे का कठिन व्रत पारण के बाद पूर्ण किया जाता है.
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