पटना न्यूज़: राज्य में जमीन विवाद से जुड़े सामान्य मामलों का निपटारा प्रारंभिक स्तर पर करने के लिए बीएलडीआर (भूमि विवाद निराकरण अधिनियम) एक्ट, 2019 बनाई गई है. इसके अंतर्गत मामलों के निपटारे में खराब प्रदर्शन करने वाले 6 डीसीएलआर से पिछले एक सप्ताह के दौरान विभाग के स्तर से स्पष्टीकरण पूछा गया है. इसमें आरा, सासाराम, डुमरांव, पालीगंज, भागलपुर और नवगछिया शामिल हैं. विभागीय सचिव जय सिंह के स्तर से इस मामले को लेकर वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से दक्षिण बिहार के सभी भूमि सुधार उपसमाहर्ता (डीसीएलआर) के साथ समीक्षा की गई. इस दौरान बीएलडीआर एक्ट के तहत मामलों के निपटारे से संबंधित डीसीएलआर के कार्य-कलापों की भी समीक्षा की गई. इसमें यह स्थिति सामने आई है. नालंदा, आरा, भागलपुर, मसौढ़ी, बाढ़ और बिहारशरीफ अनुमंडलों में भी बीएलडीआर एक्ट के तहत भी स्थिति असंतोषजनक पाई गई. आगामी बैठक में संबंधित डीसीएलआर से स्पष्ट मंतव्य के साथ उपस्थित होने का आदेश दिया गया है. जमीन मालिकों की भूमि से संबंधित जमाबंदी को उनके आधार से जोड़ने की प्रक्रिया अंचल स्तर पर बेहद धीमी है. इसके मद्देनजर राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने सभी अंचलाधिकारियों को इस कार्य में तेजी लाने का निर्देश दिया है. आधार के साथ जमाबंदी को जोड़ने की प्रक्रिया पहले से चल रही हैं, लेकिन अंचल स्तर पर बरती जा रही सुस्ती की वजह से इसमें प्रगति नहीं हो रही है.
समीक्षा के दौरान पाया गया कि कई अंचल में अभी इस विषय पर सर्वे का कार्य भी पूरा नहीं किया गया है. सचिव ने सभी संबंधित डीसीएलआर को आधार सीडिंग का कार्य जल्द से जल्द पूर्ण कराने का निदेश दिया. सभी अंचलों में इस कार्य में तेजी लाने को कहा गया है. सचिव ने कहा कि आधार से जमीन की जमाबंदी को जोड़ने से कई प्रकार की धोखाधड़ी से बचा जा सकता है. इससे जमीन विवाद के मामले भी कम हो सकेंगे.