पटना. राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के शपथ ग्रहण समारोह (Draupadi Murmu Oath Taking Ceremony) में बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish Kumar) के शामिल नहीं होने पर हो रही सियासत पर उनकी पार्टी जनता दल युनाइटेड (जेडीयू) ने सफाई दी है. जेडीयू संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा (Upendra Kushwaha) ने कहा कि नीतीश कुमार हर कार्यक्रम में शामिल हों, यह जरूरी नहीं है. नीतीश कुमार का अपना कार्यक्रम है वो उसमें व्यस्त हैं. नीतीश कुमार के नहीं शामिल होने का कोई अर्थ नहीं निकाला जाए. उन्होंने कहा कि जब द्रौपदी मुर्मू देश की राष्ट्रपति बन चुकी हैं और सीएम नीतीश कुमार ने उन्हें समर्थन देकर राष्ट्रपति बनने पर बधाई दे दी है तो उनके शपथ ग्रहण समारोह में शामिल नहीं पर बेवजह सियासत हो रही है.
वहीं, जेडीयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन उर्फ ललन सिंह ने कहा कि उन्होंने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल होने के लिए पार्टी के सांसदों को निर्देश दिया था कि वो राष्ट्रपति के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल हों. इसके बाद जेडीयू के सांसद इस शपथ ग्रहण समारोह में शामिल भी हुए. पार्टी के जो सांसद राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल हुए उनमें सुनील पिंटू, आलोक सुमन, रामप्रीत मंडल, विजय मांझी, महाबली सिंह, दिनेश यादव, गिरधारी यादव, कविता सिंह, कौशलेंद्र कुमार के नाम शामिल हैं.
दरअसल मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के राष्ट्रपति के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल नहीं होने पर कई तरह के कयास लगाए जा रहे हैं जिनमें एक वजह हाल के दिनों में बिहार बीजेपी के अध्यक्ष संजय जायसवाल के उस बयान को भी माना जा रहा है जिसमें उन्होंने कहा था कि बिहार में बड़ी संख्या में आतंकियों का स्लीपर सेल काम कर रहा है, और हर जिले में टेरर मॉड्यूल मौजूद है. इसको लेकर उपेंद्र कुशवाहा ने संजय जायसवाल पर हमला बोला है. कुशवाहा ने कहा कि संजय जायसवाल जिस तरह से बोल रहे हैं उन्हें बयान देने की जगह वो जानकारी शेयर करनी चाहिए. सिर्फ बोलने से क्या फायदा है. उनके बयान का कोई मतलब नहीं है, वो जो भी बयान दे रहे है वो राजनीतिक बयान है. कुछ ऐसी बात है जो वो छिपा रहे हैं.